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जागो सरकार ! अब न्याय मित्र केके गुप्ता पर अनुचित दबाव बनाने के प्रयास

कल सामने आया था झुंझुनू जिला मुख्यालय से आरटीआई कार्यकर्त्ता और पत्रकार पर दबाब बनाने का मामला

कल सामने आया था झुंझुनू जिला मुख्यालय से आरटीआई कार्यकर्त्ता और पत्रकार पर दबाब बनाने का मामला

नवलगढ़ नगर पालिका अधिशासी अधिकारी द्वारा न्याय मित्र केके गुप्ता के निर्देशों की अवहेलना करने का प्रकरण

लोक अदालत जिला एवं सेशन न्यायाधीश ने स्वायत्त शासन विभाग शासन सचिव को पत्र लिखकर न्याय मित्र के निर्देशों की पालना न करने वाले दोषी अधिकारी एवं कर्मचारियों पर कार्रवाई करने के दिए निर्देश

न्यायमित्र केके गुप्ता ने अधिशासी अधिकारी पद पर नियम विरुद्ध नियुक्त किए जाने और निर्देशों को नहीं मानने को लेकर लोक अदालत को लिखा था शिकायती पत्र

न्याय मित्र केके गुप्ता पर अनुचित दबाव बनाने के प्रयास को भी न्यायालय को अवगत कराया

झुंझुनू, स्थाई एवं अनवरत लोक अदालत जिला एवं सेशन न्यायाधीश झुंझुनू द्वारा राजस्थान प्रदेश पूर्व स्वच्छता ब्रांड एंबेसडर तथा नगर परिषद डूंगरपुर पूर्व सभापति केके गुप्ता को जिले की नगर परिषद झुंझुनू एवं नगर पालिका मंडावा और नवलगढ़ के लिए न्याय मित्र नियुक्त किया गया है। न्यायमित्र केके गुप्ता द्वारा तीनों निकायों का सघन निरीक्षण किया जा रहा है और जनहित से जुड़े मामलों पर जीरो टॉलरेंस की नीति अपनाते हुए सख्त दिशा निर्देश जारी किए जा रहे हैं वही, अधिकारियों और कर्मचारियों की कार्य के प्रति लापरवाही किए जाने पर भी कड़े कदम उठाए जा रहे हैं। इसी क्रम में नगर पालिका नवलगढ़ के कार्यवाहक अधिशासी अधिकारी द्वारा न्याय मित्र के आदेशों की पालना में घोर लापरवाही बढ़ती जा रही थी और न्याय मित्र गुप्ता ने इस संबंध में अदालत को दो बार रिपोर्ट प्रस्तुत की थी। अदालत ने न्याय मित्र की रिपोर्ट पर त्वरित संज्ञान लेते हुए स्वायत शासन विभाग के शासन सचिव को पत्र भेजकर दोषी अधिकारी पर कड़ी कार्यवाही करने और न्याय मित्र के निर्देशों की पालना करने के निर्देश दिए हैं। न्यायालय ने दोषी अधिकारियों और कर्मचारियों पर कार्यवाही करके कोर्ट को रिपोर्ट भेजने के भी दिशा निर्देश दिए हैं।

वही, इस मामले पर न्याय मित्र केके गुप्ता का कहना है कि अदालत को भेजी गई रिपोर्ट में नगर पालिका नवलगढ़ के अधिशासी अधिकारी के कार्य शैली को लेकर उनके द्वारा सवाल खड़े किए गए थे कि नगर पालिका अधिशासी अधिकारी अनिल चौधरी कार्यवाहक के तौर पर यह पद संभाल रहे हैं जबकि उनका मूल पदस्थापन चुरू जिले के विद्युत विभाग में सहायक अभियंता पद पर है। न्यायमित्र गुप्ता ने उच्च न्यायालय जोधपुर बेंच के आदेश का हवाला देते हुए बताया कि तकनीकी अधिकारी को सिर्फ 15 दिन के लिए अधिशासी अधिकारी नगर पालिका का चार्ज दिया जा सकता है लेकिन अनिल चौधरी को नवलगढ़ नगर पालिका अधिशासी अधिकारी का चार्ज संभाले हुए लगभग डेढ़ वर्ष का समय हो चुका है जोकि नियम विरुद्ध है।

न्याय मित्र गुप्ता ने कहा कि लोक अदालत द्वारा उन्हें तीनों निकायों का न्याय मित्र नियुक्त किया गया है जिसके तहत निकायों में स्वच्छता, पर्यावरण संरक्षण, जल संरक्षण, कचरा निस्तारण, नगर सौंदर्यकरण आदि कार्यों का सघन पर्यवेक्षण किया जा रहा है और समय-समय पर तीनों निकायों का दौरा करके अधिकारियों को उचित निर्देश दिए जाकर संबंधित रिपोर्ट बनाकर लोक अदालत को भी प्रेषित की जा रही है। न्यायमित्र गुप्ता ने यह भी स्पष्ट किया कि यदि स्वायत शासन विभाग राजस्थान सरकार द्वारा दोषी अधिकारियों और कर्मचारियों के विरुद्ध कोई सख्त कार्यवाही नहीं की जाती है तो उनके द्वारा न्यायालय में परिवाद प्रस्तुत किया जाएगा।

: लोक अदालत को न्याय मित्र गुप्ता ने यह रिपोर्ट प्रस्तुत की थी

स्थाई एवं अनवरत लोक अदालत जिला झुंझुनू द्वारा निकाय नवलगढ़ के लिए नियुक्त न्याय मित्र के के गुप्ता द्वारा नियुक्ति के समय से ही क्षेत्र में स्वच्छता, पर्यावरण संरक्षण, जल संरक्षण सहित स्वच्छ भारत मिशन शहरी अंतर्गत सभी प्रकार के नियमों के पालना सुनिश्चित करने के निर्देश निकाय के संबंधित अधिकारियों को प्रदान किए गए हैं और न्याय मित्र केके गुप्ता के दिशा निर्देश अनुसार अन्य नगर निकाय झुंझुनू तथा मंडावा द्वारा प्राथमिकता के साथ युद्ध स्तर पर कार्य करते हुए न्याय मित्र तथा माननीय लोक अदालत के निर्देशों की अक्षरशः पालना की जा रही है।

इधर, नगर पालिका नवलगढ़ के एक अधिकारी ऐसे भी हैं जिनके द्वारा न्याय मित्र के के गुप्ता सहित लोक अदालत झुंझुनू और उच्च न्यायालय जोधपुर के आदेशों की भी धज्जियां उड़ाई जा रही हैं इससे और बढ़कर न्याय मित्र पर अनुचित दबाव बनाया जा रहा है।

अनिल चौधरी वर्तमान नगर पालिका, नवलगढ़ जिला झुंझुनू में कार्यवाहक अधिशाषी अधिकारी पद पर कार्यरत है जो कि मूल रूप से सहायक अभियंता (विद्युत) पद पर चुरू में कार्यरत हैं। यह अधिकारी पूर्व में भी इसी तरह से कार्यवाहक अधिशाषी अधिकारी चिड़ावा नगर पालिका के रूप में कार्यरत रहा है जिस पर ए.सी.बी. द्वारा अवैध पट्टे देने के बदले में राशि लेते हुए गिरफ्तार भी किया जा चुका है। यह मूलत विद्युत विभाग से हैं, सिविल कार्यो में इसकी कोई जानकारी नहीं होने से विकास के कामो में गुणवत्ता की भारी शिकायतों के साथ-साथ माननीय न्यायालय के आदेशों के उपरांत भी अपनी जिम्मेवारी को गंभीरता से न लेते हुए कार्य के प्रति किसी भी प्रकार की रूचि न लेकर अवैध कार्यो में लगे हुए हैं। आमजन में इनके प्रति भारी विरोध व्याप्त हैं।

उच्च न्यायालय, जोधपुर द्वारा एस.बी.सिविल रिट संख्या 2185/2021 श्री श्रवण राम व अन्य बनाम राज्य सरकार, डायरेक्टर स्वायस्त शासन विभाग को 15/2/2021 को आदेश में निर्देशित किया गया था कि कोई अतिरिक्त अधिकारी 15 दिवस तक ही आयुक्त / अधिशासी अधिकारी के पद पर कार्य कर सकता है। जबकि अनिल चौधरी अधिशासी अधिकारी के पद पर नवलगढ़ पिछले 1 वर्ष 6 माह से कार्यरत है तथा पूर्व में भी काफी समय से अधिशासी अधिकारी चिड़ावा व अन्य निकायों में रहा है जहाँ इन्होने भारी संख्या में गलत पट्टो का वितरण किया है जिनकी शिकायते आमजन ने की है। उपरोक्त प्रकरण में एक बात और सामने आई है कि नवलगढ़ में स्थाई कर्मचारी इसी पद पर कार्यरत है। यहाँ यह भी जाँच का विषय है कि इस अधिकारी में ऐसी क्या विशेषता थी कि इन्हें अतिरिक्त कार्यभार कोनसे नियमो के तहत दिया गया इसमे पिछले एवं वर्तमान में कोन-कोन इसमे लिप्त हैं यह विषय जाँच योग्य हैं। वर्तमान में नवलगढ़ के अन्दर गन्दगी का साम्राज्य हैं। जानवरों का शहर में घूमना, अतिक्रमण होना, नालियों में कचरा, सार्वजनिक टोयलेटो की दुर्दशा, कचरा यार्ड में गन्दगी, प्लास्टिक चारो तरफ फैलना, वर्षा का पानी जगह-जगह भरना, निर्माण कार्यो का घटियाँ होना गलतियों के आधार पर पट्टो को जारी करने को जारी करने को लेकर आमजन में असंतोष एवं भारी विरोध व्याप्त हैं तथा नियमित शिकायतें आ रही हैं।

गत मई माह में नवलगढ़ के निरीक्षण के दौरान भी स्वच्छ भारत मिशन में भारी लापरवाही पाई गई थी

न्याय मित्र केके गुप्ता ने बताया कि उनके द्वारा इससे पूर्व भी एक पत्र लोक अदालत को प्रेषित किया गया था। उक्त पत्र में उल्लेखित किया गया था कि, गत 4 मई को उनके द्वारा न्यायालय के आदेशा झुंझुनू, नवलगढ़, मंडावा की नगर निकायों में “स्वच्छ भारत मिशन” को लेकर पूर्व में दिनांक 15 नवंबर को बैठक कर “राष्ट्रीय मिशन” को सफल बनाने हेतु निर्देशित किया गया था परन्तु वस्तुस्थिति की जाँच दिनांक 4 मई को करने पर पाया गया कि अनिल चौधरी अधिशाषी अधिकारी, नवलगढ़ द्वारा कार्य के प्रति गंभीर नहीं है और न ही पूर्व मीटिंग में उपस्थित रहे तथा बार बार आग्रह करने पर भी रिपोर्ट नहीं देना तथा “स्वच्छ भारत मिशन” के तहत कोई कार्य सम्पादित नहीं किया गया है। जगह -जगह कचरों के ढेरों का होना तथा यहाँ तक की मुख्य बाजारों में जगह- जगह कचरा पड़ा हुआ था। जगह-जगह नालियों का गन्दा पानी सड़को पर फेल रहा था मक्खी, मच्छर चारों तरफ गन्दगी पर मंडरा रहे थे। जगह-जगह सड़के टूटी पड़ी है जिसे लेकर आमजन में भारी असंतोष व्याप्त है तथा ट्यूरिस्ट को भारी समस्या का सामना करना पड़ता है। पुरानी हवेलियों सम्बंधित जो जीर्ण शीर्ण है कोई कार्यवाही अमल में नहीं लायी जा रही है जिसको लेकर आमजन में भारी असंतोष व्याप्त है। हवेलिया अधिकतर जीर्ण शीर्ण अवस्था में है किसी भी हवेली पर कोई कार्यवाही अमल में नहीं लायी गयी है न ही कोई दस्तावेज तैयार किये गए है। पूर्व में दिए गए निर्देशों के तहत जीर्ण शीर्ण अवस्था में हो रही हवेलियों के मालिकों को नोटिस देकर मरम्मत करायी जानी सुनिश्चित करनी थी तथा मालिक द्वारा मरम्मत नहीं कराने पर नगर पालिका अपने स्तर पर मरम्मत कर मालिक से मय पेनेल्टी के राशि वसूल करना सुनिश्चित किया गया था। परन्तु ऐसा नहीं किया गया ओर न ही किसी प्रकार के दस्तावेज इस सन्दर्भ में दिखाये गयें। कचरा यार्ड में फेल रही चारो तरफ गन्दगी तथा उसके अन्दर जानवरों द्वारा गन्दगी खाई जा रही थी। सड़को पर भारी संख्या में घूम रहे लावारिस जानवरों से सड़कों पर आमजन का आना जाना दुर्लभ हो रहा है। सार्वजनिक टॉयलेट को नियमित दिन में तीन बार साफ किया जाना तथा टोयलेटो के अन्दर सफाई व्यवस्था सही नहीं है। हर घर से नियमित, समय बद्धता से कचरा गीला एवं सुखा अलग-अलग नहीं उठाया जा रहा है जिससे चारों तरफ गन्दगी फेल रही है। अतिक्रमण एवं दुकानों के बाहर सामान रखने से ट्राफिक में बाधा हो रही है। शहर के बीचों-बिच गंदे पानी का भराव होने से कॉलोनी वासियों को बीमारियों एवं गन्दगी का सामना करना पड़ रहा है। शमशान घाट पर पर्याप्त सफाई व्यवस्था नहीं है। अनिल कुमार, वर्तमान में अधिशाषी अधिकारी, नगर पालिका नवलगढ़ में करीब 1 साल 6 माह से अस्थायी रूप से लगा रखा है। जबकि इनकी पोस्टिंग चुरू में सहायक अभियंता पद पर है पूर्व में भी इनकी पोस्टिंग कार्यवाहक अधिशाषी अधिकारी चिड़ावा जिला झुंझुनू में रही है। वहा इनको गलत पट्टों के आवंटन पर अन्वेषण जांच ब्यूरो द्वारा रंगे हाथ गिरफ्तार किया गया था। वह जांच वर्तमान में लंबित है तथा नवलगढ़ में भी आमजन की पट्टों को लेकर भारी शिकायते है। अनिल कुमार अधिशाषी अभियंता ने मुझे बताया कि उनके द्वारा करीब 4700 पट्टे जारी करने का कार्य किया गया है जो कि किसी भी सूरत में संभव नहीं है। मुख्यमंत्री की अच्छी योजना का यह अधिकारी लगता है भारी दुरूपयोग कर रहे है। न्याय मित्र केके गुप्ता ने न्यायालय से निवेदन किया है कि वर्तमान में कार्यरत अधिशासी अधिकारी अनिल चौधरी को नवलगढ़ से अविलम्ब स्थानान्तरण एवं किये गये कार्यो की “विशेष टीम” एवं अन्वेषण जांच ब्यूरो से जाँच करवाना भी उचित रहेगा अन्यथा इसका प्रभाव शहर की सुन्दरता एवं आमजन में सरकार एवं न्यायालय के प्रति गलत पड़ेगा।

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