सूरजगढ़। इंदिरा गांधी सार्वजनिक पार्क, काजड़ा में बुधवार को देश की प्रथम महिला प्रधानमंत्री भारत रत्न इंदिरा गांधी की जयंती श्रद्धापूर्वक मनाई गई।
इस अवसर पर महान वीरांगना झांसी की रानी लक्ष्मीबाई को भी उनकी जयंती पर याद किया गया।
प्रतिमा पर माल्यार्पण और श्रद्धांजलि
कार्यक्रम की शुरुआत इंदिरा गांधी की प्रतिमा पर माल्यार्पण से हुई।
कार्यक्रम का नेतृत्व राष्ट्रीय सरपंच संघ की राष्ट्रीय उपाध्यक्ष मंजू तंवर ने किया।
इस दौरान आदर्श समाज समिति इंडिया के अध्यक्ष धर्मपाल गांधी और अन्य सामाजिक कार्यकर्ताओं ने भी उनकी स्मृति में विचार व्यक्त किए।
“लौह-महिला” इंदिरा गांधी के योगदान को याद किया
मंजू तंवर ने अपने संबोधन में कहा कि इंदिरा गांधी न केवल देश की प्रथम महिला प्रधानमंत्री थीं, बल्कि वे विश्व पटल पर सशक्त महिला नेतृत्व की प्रतीक मानी जाती हैं।
उन्होंने बताया कि इंदिरा गांधी ने शांतिनिकेतन, विश्व भारती और ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी जैसे प्रमुख संस्थानों से शिक्षा प्राप्त की और स्वतंत्रता संग्राम में सक्रिय रूप से भाग लिया।
उन्होंने आगे कहा—
“इंदिरा गांधी ने 1971 के भारत-पाक युद्ध में ऐतिहासिक विजय दिलाकर विश्व का भूगोल बदल दिया और बांग्लादेश का निर्माण कराया।”
रानी लक्ष्मीबाई की वीरता को नमन
कार्यक्रम में झांसी की रानी लक्ष्मीबाई की जयंती पर भी श्रद्धांजलि दी गई।
वक्ताओं ने कहा कि रानी लक्ष्मीबाई भारतीय स्वाधीनता संग्राम की अमर प्रतीक हैं और उनका साहस हर नागरिक के लिए प्रेरणा है।
इंदिरा गांधी के कार्यकाल की प्रमुख उपलब्धियां
- बैंकों का राष्ट्रीयकरण
- हरित क्रांति
- 20 सूत्रीय कार्यक्रम
- गुटनिरपेक्ष आंदोलन का नेतृत्व
- विभाजन काल में मानव सेवा
वक्ताओं ने कहा कि 31 अक्टूबर 1984 को देश की एकता और अखंडता के लिए इंदिरा गांधी ने अपने प्राण न्यौछावर किए, और राष्ट्र उनका सदैव ऋणी रहेगा।
कार्यक्रम में मौजूद प्रमुख लोग
कार्यक्रम में मनजीत सिंह तंवर, धर्मपाल गांधी, जगदीश प्रसाद सैन, अनिल जांगिड़,
सुरेश सिंह शेखावत, प्रकाश मेघवाल, धीर सिंह नायक, अशोक कुमावत,
कपिल गुर्जर, छंगाराम मेघवाल, निर्मल सिंह, सुनील गांधी सहित अनेक लोग उपस्थित रहे।