Posted inJhunjhunu News (झुंझुनू समाचार)

NRDD अस्पताल झुंझुनू में 10 दिवसीय निःशुल्क क्षारसूत्र शल्य चिकित्सा शिविर

Free Ksharsutra Shalya Chikitsa Camp in Jhunjhunu Hospital

15 दिसंबर से 24 दिसंबर तक एनआरडीडी अस्पताल में विशेषज्ञ चिकित्सकों द्वारा उपचार

झुंझुनू राष्ट्रीय आयुष मिशन, आयुष मंत्रालय भारत सरकार और आयुर्वेद विभाग राजस्थान द्वारा झुंझुनू में 10 दिवसीय निःशुल्क अंतरंग क्षारसूत्र शल्य चिकित्सा शिविर का आयोजन 15 दिसंबर 2025 से 24 दिसंबर 2025 तक किया जाएगा।

शिविर का उद्देश्य

शिविर में पाइल्स, फिस्टुला और फिशर जैसी समस्याओं का आयुर्वेद की प्रमाणिक क्षारसूत्र शल्य चिकित्सा पद्धति से निःशुल्क उपचार उपलब्ध कराया जाएगा।

स्थान और सुविधाएँ

शिविर के लिए एनआरडीडी अस्पताल, मलसीसर रोड, झुंझुनू ने दस दिन के लिए अस्पताल परिसर निःशुल्क उपलब्ध कराया है।
उपनिदेशक आयुर्वेद झुंझुनू, डॉ. जितेन्द्र स्वामी ने बताया कि क्षारसूत्र पद्धति रोग में कम कष्ट और कम पुनरावृत्ति के साथ प्रभावी उपचार प्रदान करती है।

उद्घाटन समारोह

उद्घाटन 15 दिसंबर को प्रातः 11:30 बजे महामण्डलेश्वर अर्जुनदास जी स्वामी की उपस्थिति में किया जाएगा।
उद्घाटन में झुंझुनू विधायक राजेन्द्र भाम्बू, जिलाध्यक्ष हर्षिणी अतुल कुमार, पूर्व सांसद नरेन्द्र खीचड़, पूर्व सांसद संतोष अहलावत, पूर्व विधायक शुभकरण चौधरी, भाजपा प्रत्याशी राजेश दहिया, जिला भाजपा उपाध्यक्ष इंजिनियर प्यारेलाल ढूकिया, जिला कलक्टर डॉ. अरुण गर्ग और एनआरडीडी अस्पताल निदेशक डॉ. संदीप ढूकिया उपस्थित रहेंगे।

अन्य चिकित्सा सुविधाएँ

प्रभारी चिकित्सक डॉ. महेश माटोलिया ने बताया कि पुराने जोड़ों, एड़ी के दर्द, टेनिस एल्बो, स्नायु रोग आदि में पंचकर्म, अग्निकर्म और विद्धकर्म से राहत मिलेगी। प्रत्येक रोगी की जांच कर उचित उपचार निःशुल्क उपलब्ध कराया जाएगा।

योग और स्वस्थ जीवन शैली पर परामर्श

16 दिसंबर से 24 दिसंबर तक योग विशेषज्ञ रोगानुसार योग, प्राणायाम और आसनों का अभ्यास करवाएंगे।
प्रतिभागियों को खान-पान, दिनचर्या और जीवन शैली में सुधार हेतु व्यक्तिगत सुझाव भी प्रदान किए जाएंगे।

तैयारी और जागरूकता

सहायक निदेशक डॉ. रविन्द्र कुमार ने बताया कि शिविर की तैयारियाँ पूर्ण हो चुकी हैं। पोस्टर प्रदर्शनी के माध्यम से आयुर्वेद की तकनीकें जैसे पंचकर्म, विद्धकर्म, अग्निकर्म, प्रकृति परीक्षण, स्वर्णप्राशन और गर्भाधान संस्कार आदि को आमजन तक पहुँचाया जाएगा।