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Video News – किडनी कांड स्थल धनखड़ हॉस्पिटल सीज, जांच में दोषी पाए जाएंगे डॉक्टर तो होगी FIR और लाइसेंस रद्द

विभिन्न सरकारी योजनाओं से अस्पताल को किया जाएगा डी पैनल

झुंझुनू, झुंझुनू के धनखड़ अस्पताल में किडनी की लापरवाही के मामले में आज पूरे दिन जिला प्रशासन को भी दौड़ धूप करनी पड़ी और दिनभर चली तमाम दौड़ धूप के बाद शाम को धनखड़ हॉस्पिटल की बिल्डिंग को सीज कर दिया गया। वही सीएमएचओ डॉक्टर राजकुमार डांगी ने जानकरी देते हुए बताया कि अस्पताल का क्लीनिकल एक्ट में रजिस्ट्रेशन होता है उसको रद्द कर दिया गया है। भामाशाह स्वास्थ्य योजना में अस्पताल को डी पैनल करने के लिए, आयुष्मान आरोग्य योजना से हटाने के लिए स्टेट को लिख दिया गया है। इसके अलावा जो आरजीएचएस जैसी योजनाएं होती हैं उनके लिए भी स्टेट अथॉरिटी को लेटर लिख दिया गया है। वहीं सीएमएचओ डांगी का कहना था कि जो कमेटी गठित की गई है यदि वह डॉक्टर संजय धनकड़ को दोषी मानती है तो FIR भी करवाई जाएगी और राजस्थान मेडिकल काउंसिल द्वारा डॉक्टर का लाइसेंस रद्द कर दिया जाएगा इसके बाद पूरे राजस्थान में यह डॉक्टर कहीं भी प्रेक्टिस नहीं कर पाएगा। वही आपको बता दें कि पूरे दिन में आज झुंझुनू नगर परिषद आयुक्त के साथ फायर ऑफिसर, हाउसिंग बोर्ड के अधिकारी, चिकित्सा विभाग के अधिकारी, पुलिस प्रशासन के अधिकारी, पॉल्यूशन बोर्ड के अधिकारी जांच के लिए अस्पताल पहुंचे। झुंझुनू नगर परिषद आयुक्त अनीता खीचड़ का कहना था कि अस्पताल में किसी भी प्रकार के फायर सेफ्टी के उपकरण नहीं है और फायर संबंधित एनओसी भी अस्पताल द्वारा नहीं ली गई है। मौके पर हाउसिंग बोर्ड के अधिकारियों को भी बुलाया जा रहा है और उनसे जानकारी ली जा रही है कि किस प्रकार की निर्माण की स्वीकृति यहां पर दी गई है।

वही एक सवाल के जवाब में आयुक्त अनीता खीचड़ ने बताया कि फायर से संबंधित एनओसी के जारी नहीं होने पर नोटिस देने की कार्रवाई की गई थी या नहीं यह फायर ऑफिसर से पता किया जा रहा है यदि नोटिस नहीं दिया गया है तो नोटिस दिया जाएगा। वही आपकी जानकारी के लिए बता दें कि हाल ही में प्रदेश के उच्च प्रशासन ने अस्पतालों को लेकर सख्त आदेश दिए थे कि चिकित्सा संस्थानों में फायर की एनओसी, समुचित बिजली, पानी इत्यादि की व्यवस्था होना अत्यंत आवश्यक है लेकिन झुंझुनू जिला मुख्यालय पर सरकारी और उच्च प्रशासनिक अधिकारियों के निर्देशों की भी खुलेआम अवहेलना की जा रही है। झुंझुनू शहर की आवासीय कॉलोनियों में बड़े-बड़े व्यावसायिक कॉम्पेक्स, अस्पताल खड़े हो चुके हैं लेकिन जिम्मेदारों को यह आज भी धरातल पर नजर नहीं आते हैं। लेकिन जब कहीं पर कोई बड़ा हादसा या घटना घटित हो जाती है तो प्रशासन का सारा का सारा ताम झाम एक साथ पहुंचता है, ठीक उसी प्रकार की आग लगने पर जैसे कुआं खोदने की कार्रवाई शुरू की जाती है।