संतों के सानिध्य में निकली भव्य ध्वज यात्रा, कथा का आध्यात्मिक संदेश
रतनगढ़। शहर के श्रीपंचमुखी बालाजी मंदिर में शनिवार को 9 दिवसीय श्रीराम कथा का भव्य शुभारंभ ध्वज यात्रा के साथ हुआ। कथा के प्रारंभ में श्रीतालवाले बालाजी मंदिर से संत दिनेशगिरी महाराज एवं संत परमेश्वरगिरी महाराज के सानिध्य में ध्वज यात्रा निकाली गई।
पुष्पवर्षा से हुआ स्वागत
ध्वज यात्रा शहर के प्रमुख मार्गों से होती हुई कथा स्थल पहुंची, जहां रास्ते भर श्रद्धालुओं ने पुष्प वर्षा कर यात्रा का स्वागत किया। पूरा वातावरण राममय हो गया।
प्रथम दिन कथा का महात्म्य बताया
कथा के प्रथम दिन पंडित लाटा ने श्रीराम कथा के महात्म्य पर प्रकाश डालते हुए कहा कि—
“भगवान की कथा सुनने से व्यक्ति का वर्तमान ही नहीं, भविष्य भी संवरता है और जीवन को नई दिशा मिलती है।”
उन्होंने कहा कि राम नाम में ब्रह्मा, विष्णु और महेश तीनों समाहित हैं। जहां भी राम नाम स्मरण का अवसर मिले, उसका लाभ अवश्य उठाना चाहिए, क्योंकि इससे बड़ी कोई शक्ति नहीं है और पूरी सृष्टि इसी नाम में निहित है।
कथा का समय व विशेष आयोजन
- श्रीराम कथा का वाचन 28 दिसंबर तक
- प्रतिदिन दोपहर 12:30 बजे से शाम 4:30 बजे तक
- 29 दिसंबर को कथा पांडाल में बाबा रामदेव का जम्मा
यजमानों द्वारा पूजा-अर्चना
कथा के शुभारंभ पर मुख्य यजमान बंशीधर पवन सेवदा एवं रामेश्वरलाल पूर्णमल बणसिया परिवार द्वारा व्यासपीठ की विधिवत पूजा-अर्चना की गई।
गणमान्य लोग रहे उपस्थित
इस अवसर पर पूर्व विधायक अभिनेष महर्षि, राजेंद्र बणसिया, प्रदीप केडिया, नितेश अग्रवाल, राजकुमार छंगानी, बद्रीप्रसाद बणसिया, रमेशचंद्र इंदौरिया, जयप्रकाश ताम्रायत, देवेंद्र चोटिया, संतोषकुमार इंदौरिया, सुशील गौड़, मुरारीलाल चाकलान, सुरेश मुरारका, शशि गौड़, देवेंद्र यादव, मुरलीधर बबेरवाल, रामचंद्र सहल, हरलाल डूडी, गोपीचंद प्रजापत, अशोक बिरड़ा, कुणाल व्यास, अजय बणसिया, सुरेंद्र हुड्डा, किशोर बिजारणियां सहित बड़ी संख्या में श्रद्धालु मौजूद रहे।