Success Story: कहते हैं इंसान अपने मन में कुछ ठान लें तो उसे पूरा करके रहता है। कई बार ऐसा होता है हम मुश्किलों के आगे हार जाते हैं लेकिन कई बार ऐसा होता है की मुश्किलें हमें जितना सिखाती है। कई लोग ताना मिलने के बाद बदला लेने की सोचते हैं और कुछ ऐसे लोग भी होते हैं जो उसे ताने को अपनी जिंदगी का मकसद बनाकर आगे बढ़ने की सोचते हैं।
यूपीएससी की परीक्षा जिद,जुनून और कड़ी मेहनत मांगती है। हमारे देश में हर साल लाखों की संख्या में अभ्यर्थी इस परीक्षा को देते हैं लेकिन इस परीक्षा को पास करना इतना आसान नहीं होता। इस परीक्षा को वही अभ्यर्थी पास कर पता है जो कठिन संघर्ष करता है और मुश्किलों से लड़ता रहता है। कई बच्चे ऐसे भी है जो अपनी सफलता मिलने तक संघर्ष करते हैं और मुश्किलों को हराकर यूपीएससी जैसे कठिन एग्जाम को पास कर दिखाते हैं।
आज हम आपको प्रियंका शुक्ला की कहानी बताएंगे। हमारे देश में यूपीएससी का क्रेज काफी ज्यादा है यही वजह है कि लोग अच्छी-अच्छी नौकरी छोड़कर भी इस फील्ड में आते हैं। प्रियंका शुक्ला के जीवन में सब कुछ अच्छा चल रहा था वह पेशे से एक डॉक्टर थी। लेकिन एक दिन कुछ ऐसा हुआ कि उनकी जिंदगी ही बदल गई।
प्रियंका के पिता बचपन से ही चाहते थे कि प्रियंका आईएएस ऑफिसर बने लेकिन वह डॉक्टर बनना चाहती थी। डॉक्टर बनने के लिए उन्होंने कड़ी मेहनत की और किंग जॉर्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी में उनका दाखिला हुआ जहां से उन्होंने एमबीबीएस की पढ़ाई की। इंटर्नशिप के दौरान कुछ ऐसा हुआ कि उनकी जिंदगी बदल गई।
एक ताने ने बदल दी जिंदगी
एक बार इंटर्नशिप के दौरान प्रियंका शुक्ला ने देखा कि एक महिला गंदा पानी पी रही है और अपने बच्चों को भी गंदा पानी पिला रही है जब उन्हें प्रियंका ने रोका तो उन्होंने ताने देते हुए कहा तुम कहीं की कलेक्टर हो क्या जो रोक रही हो। इस घटना ने प्रियंका को सोचने पर मजबूर कर दिया और उन्होंने यूपीएससी परीक्षा पास करने की। पहले कई बार उन्हें असफलता हाथ लगी लेकिन 2009 में वह सफल हो गई।
अपने अनोखे काम के वजह से वह काफी चर्चा में बनी रहती है। उन्हें कई अवार्ड मिल चुके हैं और राष्ट्रपति के द्वारा भी सम्मान मिल चुका है। प्रियंका शुक्ला की कहानी यह साबित करती है कि इंसान चाहे तो कुछ भी कर सकता है।