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Sikar News – सड़क हादसे में मददगार को 10 हजार व प्रशस्ति पत्र,अब तक 23 को मिला सम्मान

Sikar residents rewarded for helping accident victims under CM scheme

सीकर में “भले व्यक्तियों” को मिल रहा राज्य सरकार का सम्मान

सीकर, राजस्थान सरकार की एक सराहनीय पहल के अंतर्गत सड़क दुर्घटनाओं में घायल व्यक्तियों की मदद करने वाले सामान्य नागरिकों को 10 हजार रुपयेप्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया जा रहा है।

इस योजना का नाम है मुख्यमंत्री आयुष्मान जीवन रक्षा योजना, जिसे मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के निर्देशन में प्रदेशभर में लागू किया गया है।


योजना का उद्देश्य

इस योजना का मकसद यह है कि कोई भी व्यक्ति दुर्घटना देख कर डर कर न भागे, बल्कि तत्काल घायल को अस्पताल पहुंचाए। ऐसा करने पर सरकार उस मददगार को Good Samaritan मानते हुए पुरस्कृत करती है।


क्या मिलता है योजना में?

  • 10,000 रुपए की पुरस्कार राशि
  • प्रशस्ति पत्र
  • यदि मदद करने वाले एक से ज्यादा हों तो राशि और प्रमाणपत्र समान रूप से वितरित किए जाते हैं।
  • यदि घायल गंभीर श्रेणी का नहीं है तो केवल प्रशस्ति पत्र प्रदान किया जाता है।

पात्रता और प्रक्रिया

घायल व्यक्ति को सरकारी या निजी अस्पताल पहुंचाने के बाद मददगार को निम्न जानकारी देनी होती है:

  • नाम, उम्र, पता, मोबाइल नंबर
  • पहचान पत्र
  • बैंक खाता विवरण

यह विवरण ड्यूटी पर मौजूद चिकित्सक, थानाधिकारी या उपखंड अधिकारी को देना होता है।


कब और कैसे मिलता है लाभ?

  • अस्पताल प्रशासन को 3 दिनों के भीतर अनुशंसा भेजनी होती है।
  • इसके बाद 2 कार्य दिवसों में रकम डीबीटी के ज़रिए खाते में ट्रांसफर की जाती है।
  • प्रशस्ति पत्र ई-मेल, स्पीड पोस्ट और पोर्टल के माध्यम से भी उपलब्ध होता है।

सीकर में अब तक 23 लोगों को मिला सम्मान

सीकर जिले में इस योजना के तहत अब तक 23 लोगों को सम्मानित किया जा चुका है।

  • 21 लोगों को नकद राशि और प्रशस्ति पत्र
  • 2 को प्रशस्ति पत्र प्रदान किया गया है।

किन्हें नहीं मिलेगा लाभ?

इस योजना का लाभ निम्न को नहीं मिलेगा:

  • 108, 1033 या निजी एम्बुलेंस कर्मी
  • पीसीआर वैन और ऑन-ड्यूटी पुलिस कर्मी
  • घायल के सगे संबंधी

शिकायत कहां करें?

  • मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (CMHO) 15 दिनों में शिकायत का निवारण करेंगे।
  • ज़िला स्तर पर समाधान नहीं होने पर संभागीय संयुक्त निदेशक अंतिम अपीलीय प्राधिकारी होंगे।