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बलात्कारियों को फांसी देने की रखी मांग

राजस्थान मेघवाल परिषद ने एसडीएम को सौंपा ज्ञापन

सूरजगढ़ [के के गाँधी ] अलवर जिले के थानागाजी इलाके में अनुसूचित जाति की महिला के साथ हुए गैंगरेप मामले में राजस्थान मेघवाल परिषद द्वारा एसडीएम को ज्ञापन सौंपकर आरोपियों को फांसी की सजा देने की मांग की। आज शुक्रवार को राजस्थान मेघवाल परिषद के महासचिव हवासिंह चौहान के नेतृत्व में समाज के लोगों ने उपखंड अधिकारी अभिलाषा पूनियां को ज्ञापन सौंपकर गैंगरेप मामले में शामिल आरोपियों को जल्द से जल्द गिरफ्तार कर कड़ी सजा देने की मांग की। ज्ञापन के माध्यम से अलवर जिले में थानागाजी इलाके में अनुसूचित जाति की महिला को पति के सामने निर्वस्त्र कर गैंगरेप करने वाले करीबन 5 अपराधियों को फांसी की सजा देने की मांग उठाई गई है. पति पत्नी को निर्वस्त्र करना और पति के सामने 3 घंटे तक सामूहिक दुष्कर्म व दरिंदगी करना, वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करना, प्रताड़ित करना और सोशल मीडिया में वीडियो वायरल करना बहुत ही शर्मनाक निंदनीय और दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। ऐसे दरिंदों को फांसी से कम सजा नहीं होनी चाहिए। अलवर गैंगरेप कांड के बाद राजस्थान के अन्य जिलों से भी बलात्कार की घटनाएं सामने आ रही है। काफी वर्षों से एससी/एसटी आयोग ठीक से काम नहीं करने की वजह से दलित समाज और दलित महिलाओं पर अत्याचार बढ़ रहे हैं। एससी/एसटी आयोग का अध्यक्ष किसी राजनीतिक पार्टी के नेता को बनाने की बजाय वरिष्ठ सामाजिक कार्यकर्ता या सेवानिवृत्त न्यायाधीश को बनाया जाना चाहिए दबंगों द्वारा दलितों का आर्थिक, मानसिक व शारीरिक शोषण किया जा रहा है। हर तरह से प्रताड़ित किया जा रहा है.दबंगों द्वारा तरह तरह के अत्याचार व हत्या जैसी घटनाओं को अंजाम दिया जा रहा है। अपराधियों की पुलिस प्रशासन से सांठगांठ होने और राजनीतिक संरक्षण हासिल होने की वजह से उनके खिलाफ कोई ठोस कार्रवाई नहीं हो पा रही है। हर सरकारी सिस्टम में भ्रष्टाचार होने की वजह से आम आदमी को न्याय नहीं मिल रहा है ज्ञापन के जरिए सामाजिक कार्यकर्ताओं ने अलवर गैंगरेप पीड़िता को सरकारी नौकरी और पीड़ित परिवार को सुरक्षा देने के अलावा दोषी पुलिस अधिकारियों को निलंबित कर उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग उठाई है। इस मौके पर डा. जी. एल. मौर्य, विजेंद्र सिंह मेघवाल, गजानंद कटारिया, धर्मपाल गांधी, महेंद्र सिंह बरवड़, नत्थू राम मेघवाल, एडवोकेट रामेश्वर दयाल, मुकेश कुमार, यूनुस, रवि कुमार, रणवीर आदि कार्यकर्ता मौजूद थे.

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