बेटियां डरे नहीं, हिम्मत और जज्बे के साथ बढे आगे – मिश्रा
झुंझुनू, कस्तूरबा गांधी राजकीय आवासीय बालिका विद्यालय में आज शनिवार को राष्ट्रीय बालिका दिवस सप्ताह के तहत लंच विद लाडली कार्यक्रम का आयोजन किया गया। समारोह को सम्बोधित करते हुए जिला एवं सेशन न्यायाधीश चंचल मिश्रा ने कहा कि बेटी की महत्ता किसी से छिपी हुई नहीं है। बेटी की कल्पना मात्र से ही सुख की अनुभूति प्राप्त हो जाती है। उन्होंने बेटियां से कहा कि किसी भी परिस्थितियों में डरे नहीं हर परिस्थिति में हिम्मत ओर जज्बा कायम रखें। फिर देखना विपरित परिस्थिति भी आपके अनुकूल हो जाएगी। उन्होंने बेटियों से कहा कि सपने हमेशा बडे रखें, तभी मेहनत करने का मजा है। उन्होंने स्कूल स्टॉफ से कहा कि हर इंसान में एक खूबी दुसरो की तुलना में अलग होती है आप इन बच्चों की खूबियां पहचाने और उसे उसी क्षेत्र के लिए प्रेरित करें। इससे बच्चे का भी भला होगा और समाज का भी भला होगा। पोक्सो एक्ट न्यायालय के न्यायाधीश सुकेश कुमार जैन ने बेटियों से वार्तालाप करते हुए गणतंत्र दिवस, राष्ट्रीय पर्व, सविधान, पोक्सो एक्ट के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि गुड टच एवं बेड टच महसूस होने पर आप अपने प्रिसिपल, अध्यापिकाओं को अवश्य बताएं। खामोश रहकर उसे सहन करना भी गलत है। अगर आप के साथ बूरा बर्ताव हो तो उसकी शिकायत करना आपका अधिकार है। इसलिए इसे सहे नहीं इसे कहें। राजस्थान स्कूल शिक्षा परिषद के उप निदेशक मनीराम मंडीवाल ने कहा कि न्याय पालिका के सर्वोच्य अधिकारी आज बच्चों के बीच है, यह गर्व की बात है। उन्होंने कहा कि महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा लगातार किए जा रहे नवाचारों की बदौलत आज जिले के नाम सम्मान के साथ लिया जाने लगा है। उन्होंने कहा कि महिला अधिकारिता, शिक्षा विभाग एवं रालसा द्वारा मिलकर जो समाज सुधार के कार्य करवाएं जा रहे है उससे वाकई में समाज में बदलाव की लहर आई है। महिला अधिकारिता विभाग के उप निदेशक विप्लव न्यौला ने बेटियों से कहा कि आज उनके बीच जो अतिथि आए है, वो अपनी पढ़ाई की बदौलत इस मुकाम पर पंहुचे है, इसलिए आपको पढ़ाई में किसी तरह की लापरवाही नहीं करनी है। अगर पढ़ाई पूरी नहीं होेगी तो सपने साकार करने में परेशानी आना लाजमी है। उन्होंने बताया कि 4 साल पहले इस स्कूल की व्यवस्था कमजोर होने के कारण यहां नामाकंन कम हो गया था परन्तु लोगों का मोटिवेशन कर इसमें वापस नामाकंन बढाया गया है। उन्होंने यहां पढने वाली बेटियों को पालनहार योजना के लाभ के बारे में भी जानकारी प्राप्त की। नीतू न्योला ने स्कूल के बारे में परिचय देते हुए कहा कि यहां 100 सीट आंवटित है, जिसमें से 75 प्रतिशत मुस्लिम बच्चों के लिए तथा 25 प्रतिशत गरीब वर्ग के लिए रिजर्व है। यहां पर उनको रहने, खाने, पढ़ने सहित दैनिक दिनचर्या में उपयोग होने वाली तमाम वस्तुएं उपलब्ध करवाई जाती है। यहां पर उन्हें व्यवसायिक प्रशिक्षण भी दिया जाता है। कार्यक्रम के तहत सभी अतिथियों ने स्कूल की छात्राओं के साथ बैठकर भोजन किया और उनका मनोबल बढ़ाया। इस अवसर पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की सचिव मधु हिसारिया, समसा एपीसी राजेन्द्र कपूरिया, झुंझुनू तहसीलदार योगेश, सुभाषचन्द्र, एडीईओ प्रमोद आबूसरिया, महेश सिलायच, सीपीओ हरफूल सिंह, प्रोग्रामर श्रवण कुमार, पीओ नवीन ढाका, नीतू न्यौला, मनीषा केडिया, अनिता यादव, पूनम, मनोज, सत्यवीर झाझडिया सहित स्कूल की छात्राएं एवं उनके अभिभावक आदि भी उपस्थित रहे।