प्रदेशभर में 12वें स्थान पर
चूरू, [दीपक सैनी ] स्वच्छता सर्वेक्षण 2019 के मुकाबले इस बार चूरू नगरपरिषद ने अपने स्वच्छता रैंक में सुधार करते हुए देशभर में 252 वें स्थान पर तथा प्रदेशभर में 12वें स्थान पर पहुंचकर सफलता के पायदान तय किए हैं। गत सर्वेक्षण में जहां चूरू नगरपरिषद की रैंक 285 वें स्थान पर थी वहीं इस बार 252 वें स्थान तक पहुंचकर स्वच्छता रैंक में सुधार के प्रयास किए गए हैं। सभापति पायल सैनी ने बताया कि गत वर्ष की तुलना में इस बार चूरू नगरपरिषद का मुकाबला नगरपालिका, नगरपरिषदों के साथ-साथ नगर निगमों के साथ भी था। इस बार की स्वच्छता रैंक में चूरू नगरपरिषद को 10 लाख तक की आबादी वाले निकायो व निगमों में शामिल किया गया था। जबकि निगमों में अतिरिक्त बजट होता है। अतिरिक्त संसाधन व बड़ी संख्या में सफाई कर्मचारियों का लवाजमा भी उपलब्ध रहता है। बावजूद इसके चूरू नगर परिषद ने अपने सीमित संसाधनों, स्वच्छता सैनानियो की निर्धारित संख्या, कमजोर आर्थिक स्थिति व आधुनिक संसाधनों की कमी के बावजूद अपनी टीम के दम पर प्रदेश के चार नगर निगमों को पीछे छोड़ते हुए प्रदेशभर में 12वां स्थान हासिल किया है।
- इसलिए शुमार नहीं हो सका चूरू टॉप टेन में
सभापति पायल सैनी ने बताया कि इस बार के स्वच्छता सर्वेक्षण में नगर परिषद को आमजन का सहयोग यदि भरपूर मिलता तो रैंक में और भी सुधार हो सकता था। उन्होंने कहा कि स्वच्छता सर्वेक्षण में जनता को ऑनलाइन प्रश्नों के जवाब देने होते हैं, उनके आधार पर भी सर्वेक्षण टीम द्वारा नंबर दिए जाते हैं। जो चूरू से आमजन द्वारा बहुत कम मात्रा में दिए गए। कचरे के वैश्विक तरीके से निस्तारण संबंधी व्यवस्था नहीं होने से इसके अंक नहीं जुड़ पाए। इस कारण चूरू नगरपरिषद टॉप टैन में भी स्थान नहीं बना पाई। - कंपोस्टिंग निर्माण संबंधी टेंडर जारी
सभापति ने बताया कि इस बार कचरा निस्तारण के लिए एमआरएफ व कम्पोस्टिंग निर्माण संबंधी नए टेंडर जारी कर दिए गए हैं। विभिन्न सामाजिक संगठनों से जुडक़र स्वच्छता जागरूकता के अभियान चलाए जाएंगे। ताकि आगामी स्वच्छता सर्वेक्षण में चूरू नगरपरिषद और अच्छी रैंक हासिल कर सके।