चुरूताजा खबर

साईबर अपराध से बचने के लिए जागरुकता की जरूरत – बंसल

विधिक चेतना समिति की मीटिंग में साईबर अपराध व एससी-एसटी वगोर्ं हेतु चलाये जा रहे अभियान के संबंध में विचार विमर्श कर लिये अनेक प्रस्ताव

चूरू, राज. राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जयपुर एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष बलजीत सिंह के निर्देशानुसार शुक्रवार को जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के सचिव प्रमोद बंसल द्वारा विधिक चेतना समिति की तृतीय त्रैमास, 2022 की मीटिंग का आयोजन किया गया। बैठक में सूचना एवं जनसम्पर्क अधिकारी कुमार अजय, सदस्यगण रामेश्वरलाल प्रजापति, सांवरमल स्वामी, राजेन्द्र राजपुरोहित, राकेश कुमार, संतोष परिहार, अभिभाषक संघ प्रतिनिधि मनोज गहलोत उपस्थित रहे।सचिव प्रमोद बंसल ने मीटिंग के दौरान सदस्यगणों के साथ विचार-विमर्श करते हुये कहा कि एक्शन प्लान 2022-23 के तहत् फ्रीडम फ्रॉम अनटचेबिलिटी कैंपेन की जानकारी सालभर तक प्रदान करते हुए एससी-एसटी वर्ग के लोगों को उनके कल्याणार्थ केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं की जानकारी प्रदान करते हुये उन्हें उनका लाभ दिलवाये जाने के संबंध में जागरूकता उत्पन्न की जानी है। इस दौरान इस वर्ग के छात्र-छात्राओं हेतु संचालित छात्रावासों एवं विद्यालयों की सुविधाओं को सुचारू रूप से चलाने व इन छात्र-छात्राओं को उनके अधिकारों के प्रति जागरूक किये जाने हेतु विधिक साक्षरता शिविरों के आयोजन का निर्णय लिया गया।

सचिव बंसल ने इस संबंध में राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, जयपुर द्वारा जारी किये गये दिशा-निर्देशों के बारे में बताया गया। उन्होंने ‘बिल्डिंग साइबर क्राइम फ्री नेशन’ अभियान के संबंध में चर्चा करते हुए बताया कि किशोरों को साईबर अपराध एवं इससे बचने के संबंध में जागरूकता उत्पन्न किये जाने हेतु विधिक साक्षरता शिविरों का अधिकाधिक आयोजन किया जायेगा। किशोरों को साईबर अपराध की जानकारी प्रदान करते हुये साईबर अपराध क्या है, साईबर अपराधियों द्वारा प्रयोग किए जाने वाले सामान्य तरीके जैसे ई-मेल स्पूफिंग, द्वेषपूर्ण फाईल एप्लीकेशन, सामाजिक इंजीनियरिंग, साइबर बुलिंग, पहचान चुराना, नौकरी से संबंधित जालसाजी, बैंकिंग फ्रॉड इत्यादि के बारे में विस्तार से जानकारी प्रदान की जानी है तथा साईबर बुलिंग, ग्रूमिंग के शिकार होने पर बचने के तौर तरीकों की जानकारी प्रदान की जानी है। साईबर अपराध से स्वयं को सुरक्षित रखने के तरीकों के बारे में भी विस्तार से जानकारी प्रदान की जानी है ताकि इन अपराधों से अपने आप को बचाया जा सके।

इस दौरान जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में स्थापित होने वाले फुल टाइम लीगल एड डिफेंस कॉसिल इंगेजमेंट सिस्टम के संबंध में जानकारी प्रदान करते हुये इससे पक्षकारों को होने वाले फायदों एवं आर्थिक रूप से कमजोर पक्षकारों को मिलने वाली सहायता के संबंध में बताते हुये इसकी सम्पूर्ण कार्यप्रणाली के संबंध में जानकारी प्रदान की गई।

सचिव द्वारा बताया गया कि समाज में विशिष्ट रूप से महिलाओं और समाज के कमजोर वर्गों में विधिक चेतना को प्रोन्नत करने लिये अधिक से अधिक विधिक साक्षरता शिविरों का आयोजन किये जाने, विधिक चेतना के लिये पैम्पलेट, पुस्तिकाएं और समाचार पत्र प्रकाशित/वितरण विधिक साक्षरता शिविरों के दौरान किये जाने, फ्रंट ऑफिस के माध्यम से विधिक चेतना प्रोन्नत करने के लिये अधिक प्रभावी रूप से कार्य किये जाने, विचार गोष्ठियों और कार्यशालाओं का प्रबन्ध करना, जनसाधारण के बीच विशेष रूप से समाज के कमजोर वर्गों को संविधान द्वारा और समाज कल्याण के विधानों और अन्य अधिनियमितियों के साथ ही साथ प्रशासनिक कार्यक्रमों और उपायों आदि के द्वारा प्रत्याभूत उनके अधिकारों, फायदों और विशेषाधिकारों के विषय में विधिक साक्षरता और विधिक चेतना प्रसारित करने के लिये समुचित कदम उठाने, विधिक सेवा कार्यक्रमों की विभिन्न पहलुओं के बारे में जनसाधारण को सूचित करने के लिये विडियो, वृत्तचित्र, प्रचार सामग्री, साहित्य आदि तैयार करना और उनको प्रकाशित करने एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की विभिन्न गतिविधियों की जानकारी हेतु प्रस्ताव लिये गये।

इस दौरान 12 नवंबर को को आयोजित होने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत की जानकारी देते हुये इसके प्रचार प्रसार हेतु विधिक साक्षरता शिविरों के आयोजन एवं इसकी जानकारी आम व्यक्ति तक पहुंचाने हेतु अधिक से अधिक प्रयास किये जाने के संबंध में विचार-विमर्श किया गया। सचिव ने बताया कि बाल विवाह के दुष्परिणामों के बारे में जागरुकता उत्पन्न किये जाने बाबत् अधिक से अधिक विधिक साक्षरता शिविरों का आयोजन किया जायेगा ताकि बाल विवाह के दुष्परिणामों के बारे में आम व्यक्ति को समझाया जा सके। प्राधिकरण की विभिन्न गतिविधियों की जानकारी प्रदान करते हुये राजस्थान पीड़ित प्रतिकर स्कीम के बारे में भी जिले के प्रत्येक व्यक्ति तक जानकारी पहुंचाने के भरसक प्रयत्न किये जाने हेतु निर्णय लिया गया तथा इस स्कीम के अंतर्गत आने वाले अपराधों, राशि के संबंध में जानकारी दी गई।

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