सीकर, मेघवाल समाज का दो दिवसीय प्रांतीय महासम्मेलन राजस्थान मेघवाल परिषद् के तत्वावधान में 24 व 25 अगस्त को धनलक्ष्मी विश्राम भवन सीकर में आयोजित होगा। राजस्थान मेघवाल परिषद् के प्रदेशाध्यक्ष कानाराम कांटीवाल ने कार्यालय से आदेश जारी करते हुए संगठन के सभी पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं को प्रदेश स्तरीय महासम्मेलन भाग लेने के लिए आदेशित किया है। प्रदेश कार्यालय की ओर से सीकर संभाग मुख्यालय पर आयोजित मेघवाल समाज के दो दिवसीय प्रांतीय महासम्मेलन के आयोजन की जिम्मेदारी संगठन के वरिष्ठ कार्यकर्ता मनोहर लाल मोरदिया, धर्मपाल गांधी, कानसिंह नाथावतपुरा व उनकी टीम को दी गई है। संगठन के प्रदेश प्रचार-प्रसार मंत्री मनोहर लाल मोरदिया ने बताया कि प्रदेश स्तरीय मेघवाल समाज महासम्मेलन में संगठन के पदाधिकारियों के साथ-साथ मेघवाल समाज के प्रबुद्ध जनों को भी सम्मेलन में आमंत्रित किया गया है। मेघवाल समाज के दो दिवसीय महासम्मेलन में सामाजिक एकता और सामाजिक सुधार पर विशेष जोर दिया जायेगा। बढ़ती आबादी और घटते रोजगार पर भी ध्यान केंद्रित किया जायेगा। इसके अलावा विभिन्न जिलों से पधारने वाले सामाजिक कार्यकर्ताओं से वहां की क्षेत्रीय समस्याओं के बारे में जानकारी ली जायेगी और ज्वलंत सामाजिक मुद्दों पर चर्चा की जायेगी। मेघवंश समाज राजस्थान प्रदेश का सबसे बड़ा समाज है। वर्तमान में मेघवंश समाज विभिन्न उप-जातियों और टुकड़ों में बंटा हुआ है, जिसकी वजह से समाज की राजनीतिक और सामाजिक रूप से उपेक्षा हो रही है। प्रदेश में सबसे ज्यादा अत्याचार मेघवाल समाज पर हो रहा है। मेघवाल समाज के कर्मचारियों और अधिकारियों को भी कई जगह प्रताड़ित किया जा रहा है। बैठक में अनुसूचित जाति पर बढ़ रहे अत्याचार व महंगाई और रोजगार जैसे ज्वलंत मुद्दों पर चर्चा के बाद भविष्य के लिए ठोस रणनीति बनाई जायेगी। समाज में फैली कुरीतियों को दूर करने व अंधविश्वास और पाखंडवाद के खिलाफ अभियान चलाने पर विचार किया जायेगा। महासम्मेलन में भाग लेने वाले बुद्धिजीवियों से विचार-विमर्श के बाद मौके पर ही कुछ सामाजिक फैसले लिए जायेंगे। महासम्मेलन में सभी की राय से समाज की दशा और दिशा पर गहनता से चर्चा के बाद भविष्य की कार्य योजनाओं का प्रारूप तैयार किया जायेगा। महासम्मेलन में राजस्थान प्रदेश के सभी जिलों से मेघवंश समाज के लोग भाग लेंगे। महासम्मेलन में राजनेताओं और समाज के अधिकारियों व कर्मचारियों को भी बुलाने पर विचार किया जा रहा है। राजस्थान मेघवाल परिषद् के पदाधिकारियों से राय-मशविरा करने के बाद राजनेताओं को महासम्मेलन में बुलाने पर फैसला लिया जायेगा।