पांच अप्रेल को रात नौ बजे मोमबत्ती, दीपक या टार्च जलाने की राज्यपाल की अपील
सीकर, राज्यपाल कलराज मिश्र ने देश के राष्ट्रपति और उपराष्ट्रपति को राज्य में कोरोना की स्थिति और इस वैश्विक बीमारी से राज्य को बचाने के लिए किये जा रहे उपायों व नवाचारों के बारे में आज शुक्रवार को यहां राजभवन में वीडियाें कान्फ्रेंस के माध्यम से विस्तार से जानकारी दी। राष्ट्रपति राम नाथ कोविंद और उप राष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू ने विभिन्न राज्यों के राज्यपालों व उप राज्यपालों के साथ कोविड-19 पर दूसरी बार परिचर्चा की। राष्ट्रपति ने कहा कि राज्यों में स्वास्थ्यकर्मियों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाये। राज्य एकजुट होकर इस वैश्विक महामारी को मात दें। राज्य में इसकी नियमित समीक्षा करें। उन्होंने कहा कि इस महामारी से बचाव के प्रयासों में देशवासियों ने सराहनीय सहयोग दिया है। उपराष्ट्रपति ने कहा कि सोशल डिस्टेसिंग के लिए लोगों को जागरूक करें। उन्होंने कहा कि जागरूकता कार्यों में आध्यात्मिक गुरूओं का सहयोग लें। धार्मिक संस्थाओं को आगे आने के लिए प्रेरित करें। राज्यपाल कलराज मिश्र ने बताया कि राजस्थान में कोरोना वैश्विक महामारी को मात देने में सभी लोग एकजुट हैं। प्रदेश के मुख्यमंत्री से उनकी प्रतिदिन इस सम्बन्ध में चर्चा हो रही है। प्रतिदिन लोगों से वे अपील कर रहे हैं। आध्यात्मिक गुरूओं से वार्ता कर सहयोग की अपील की है। राज्यपाल ने बताया कि राज्य में ग्राम पंचायत स्तर पर कम्यूनिटी किचन के माध्यम से जरूरतमंदों को भोजन की व्यवस्था की जा रही है। मिश्र ने बताया कि राज्य में जागरूता के निरन्तर प्रयास किये जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि कोरोना वायरस के संक्रमण को फैलने से रोकने के उपाय तथा लॉक डाउन के दौरान घरों में रह रहे लोगों विशेषतः निर्धन एवं वंचित वर्गों की रोजमर्रा की आवश्यकताओं की पूर्ति में राज्यस्तरीय रेडक्रॉस एवं जिला इकाइयां अपने सदस्य नेटवर्क द्वारा महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन कर रही हैं। मिश्र ने बताया कि यद्यपि राजस्थान मे रेडक्रॉस सोसायटी का विधिवत रूप से गठन नहीं हुआ है फिर भी प्रशासक द्वारा संचालित सोसायटी राज्य सरकार द्वारा कोविड-19 संबंधी रोकथाम, नियंत्रण, जांच, उपचार आदि कार्यवाही में सहयोग कर रही है।
राज्यपाल ने भोजन के लिए दिये चालीस लाख रूपये – राज्यपाल मिश्र ने बताया कि राजस्थान रेडक्रास सोसायटी द्वारा कोरोना वैश्विक महामारी के रोकथाम, नियन्त्रण, जांच, उपचार आदि कार्यों में दो हजार से अधिक स्वंयसेवकों के माध्यम से सहयोगात्मक कार्य किये जा रहे हैंं। राज्यपाल ने बताया कि राज्य में विभिन्न स्वयंसेवी संस्थाओं द्वारा लोगों को भोजन, मास्क, सेनेटाइजर व खाद्य सामग्री का वितरण किया जा रहा है। जयपुर शहर में ही 90 स्थानों पर अक्षय पात्र द्वारा प्रतिदिन सुबह व सांय 22-22 हजार लोगों को भोजन उपलब्ध कराया जा रहा है। इस के लिए राज्यपाल द्वारा 40 लाख रूपये की राशि रेडक्रॉस सोसायटी के फंड से जारी की गई है।
खड़ी फसल की कटाई के लिए किसानों को अनुमति – राज्यपाल ने कहा कि राज्य में संदिग्ध कोरोना यात्रियों व व्यक्तियों को निगरानी में रखे जाने के लिए जिलों में क्वारेन्टाइन सेन्टर बनाये गये हैं। उन्होंने बताया कि राज्य के विभिन्न जिलों में प्रवासी श्रमिकों के लिए 256 रिलीफ कैम्प लगाये गए हैं जिनमें 22 हजार से अधिक श्रमिकों के आवास व भोजन की व्यवस्था की गई है। राज्य के वार रूम में अन्तर्राजीय समन्वयक के लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया गया है। राज्यपाल मिश्र ने बताया कि राज्य में हार्वेस्टर के माध्यम से खडी फसल की कटाई के लिए किसानों को राज्य सरकार ने अनुमति प्रदान कर दी है। राज्यपाल ने बताया कि राजस्थान के आजीविका मिशन से संबधित लगभग एक लाख स्वयं सहायता समूह कार्य कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि इसमें बीस लाख महिलाएं सम्मिलित हैं।
राज्यपाल ने आध्यात्मिक गुरूओं से वार्ता की – राज्यपाल कलराज मिश्र ने प्रदेश में कोरोना वैश्विक महामारी से बचाव के लिए किए जा रहे प्रयासों में सहयोग के लिए आध्यात्मिक गुरूओं से दूरभाष पर वार्ता की। राज्यपाल ने आज शुक्रवार को जयपुर शहर के चीफ काजी खालिद उस्मानी और बिशप ओसवाल जोसेफ से बात की। राज्यपाल ने कहा कि लोगों को सामाजिक दूरी बनाये रखने के लिए कहें। स्वास्थ्यकर्मियों और पुलिस को पूरा सहयोग करें ताकि प्रदेश को कोरोना से मुक्त किया जा सके।
राज्यपाल की प्रदेशवासियों से अपील – राज्यपाल कलराज मिश्र ने प्रदेशवासियों से अपील की है कि पांच अपे्रल को रात्रि 9 बजे अपने घरों की सभी लाइटें बंद करें। उन्होंने कहा कि इस दिन रात्रि 09 बजे अपने घर की बालकनी या दरवाजे पर आयें। सामाजिक दूरी बनाये रखते हुए मोमबत्ती ,दीपक, मोबाईल की लाइट या टार्च जलायें। राज्यपाल ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री के आह्वान में प्रदेश का प्रत्येक व्यक्ति भागीदारी निभाये ताकि सामूहिक शक्ति का संचार हो सके।