हजारों में सिर्फ़ दो बच्चीयों का होता है एबी निगेटिव ब्लड ग्रुप
झुंझुनूं, पीएमओ एवं वरिष्ठ शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ वीडी बाजिया ने बताया कि राजकीय बीडीके अस्पताल झुंझुनूं में भर्ती लावारिस बच्ची की स्थिति अभी भी नाज़ुक बनी हुई है। बच्ची की सांस दर,हृदय गति, सेचुरेशन, पीलिया आदि की निरंतर मानिटारिंग की जा रही है। वरिष्ठ शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ जितेंद्र भाम्बू ने बताया कि बच्ची में पिलिया होने पर ब्लड की जांच की गई । तो पाया गया कि बच्ची का ब्लड एबी निगेटिव है,जो काफ़ी दुर्लभ है। एबी निगेटिव ब्लड ग्रुप हजारों में दो बच्चीयों में होता है। लावारिस बच्ची भी इसी दुर्लभ ग्रुप की है। ऐसे बच्चों को खून की आवश्यकता होने पर, खून की उपलब्धता काफ़ी मुश्किल होता है। परंतु ऐसे बच्चें अन्य को रक्तदान कर जीवनदायिनी भी होते हैं। डॉ भाम्बू ने बताया कि एबीओ ईंन-कंम्टैबिलिटी के कारण पीलिया की संभावना ज्यादा रहती है। डॉ बाजिया के अनुसार बच्ची के स्वास्थ्य में निरंतर हल्का हल्का सुधार आ रहा है।तथा फोटोथैरैपी को जारी रखा जा रहा है।