प्रेस वार्ता में बोले जाकिर झुंझुनूवाला
नागरिकता संशोधन अधिनियम व एनसीआर के विरोध में चलाएगे अभियान
झुंझुनू, अभी हाल ही में भाजपा के नेता रहे जाकिर झुंझुनूवाला को नागरिकता संशोधन अधिनियम व एनसीआर के विरोध में कार्य करते हुए पाए जाने पर भाजपा ने उन्हे अल्पसंख्यक मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष के पद से मुक्त कर दिया। इन्हीं जाकिर झुंझुनूवाला ने आज जनहित एकता समिति के अंतर्गत एक प्रेस वार्ता आयोजित की। प्रेस वार्ता में उन्होंने कहा की उन्हें सिर्फ 12 घंटे के अंदर ही पार्टी ने पद मुक्त कर दिया वह भी बिना किसी कारण बताएं। वहीं उन्होंने आरोप लगाया कि झुंझुनू नगर परिषद के सभापति के चुनाव में भाजपा उम्मीदवार को भाजपा से जीते हुए 5 पार्षदों ने वोट तक नहीं दिया उनके खिलाफ कोई कार्यवाही नहीं की गई। इसी प्रकार उन्होंने सांसद हनुमान बेनीवाल का बिना नाम लिए कहा कि गांधी चौक की उनकी जनसभा में भाजपा नेताओं की मौजूदगी में पार्टी को खरी खोटी सुनाई गई और नागिन शब्द तक का भी इस्तेमाल किया गया। सभा में जाने वाले उन नेताओं को कोई नोटिस तक नहीं दिया गया। वहीं उन्होंने बताया कि मैं 17 वर्षों से भाजपा का मूल कार्यकर्ता बनकर पार्टी की सेवा कर रहा हूं। मुस्लिम बाहुल्य गांव जाबासर में तत्कालीन प्रदेशाध्यक्ष अरुण चतुर्वेदी की मौजूदगी में पंडित दीनदयाल की जयंती मनाने जैसे आयोजन मेरे द्वारा किए गए। वही इस अवसर पर उन्होंने यह आरोप भी लगाया कि पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे की नजदीकी होने के कारण से उन्हें टारगेट बनाया गया है। उन्होंने कहा कि कुछ नेताओं को लग रहा था कि मैं वसुंधरा जी की चिलम भर रहा हूं इसलिए मुझे टारगेट बनाया गया है। उन्होंने कहा 36 कोमो व सर्व समाज की पार्टी अपने मार्ग से भटक गई है। इसके लिए वे जिले के गांव गांव ढाणी ढाणी में जाकर सीएए व एनआरसी के विरोध में आंदोलन खड़ा करने में एक अभियान की तरह मै जुट जाऊंगा। साथ ही उन्होंने कहा कि कश्मीर से जो पंडित अब तक विस्थापित हुए हैं उनको कश्मीर में बसाने का पुनः प्रयास पार्टी को करना चाहिए था जबकि पार्टी ने यह नागरिकता संशोधन कानून थोप दिया है।