हर तरफ आस्था और विश्वास का रास है। माहौल में उल्लास और उमंग बिखरी है। मौसम के बदलाव और नवरात्र के त्यौहार के साथ शहर में दिन के साथ रात में भी आस्था और आध्यात्म का रंग घुल गया है। दुर्गा पूजा और रामलीला के आयोजनों के चलते आधी रात तक शहर आबाद रहता है। भोर के साथ ही पूजा की तैयारियां शुरू हो जाती है। कहीं दुर्गा सप्तसती के मंत्र तो कही मां की आरती और स्तुति सुनाई देने लगती है। शाम होने के साथ ही शहर में चहल-पहल बढ़ जाती है। सपरिवार लोग मां के दर्शनों के लिए घर से निकलते है। आरती के बाद वहां होने वाले धार्मिक सांस्कृतिक आयोजनों का लुत्फ उठाते है। शहर में कई स्थानों पर दुर्गा पूजा के सार्वजनिक आयोजन होने के कारण शहर की सडक़े देर रात तक आबाद रहती है। दुर्गा पूजा के बाद लोगों का रूख रामलीला मैदान की तरफ होता है। ऐसे में शहर के रामलीला मैदान रोड़, घंटाघर, सुभाष चौक, मोचीवाड़ा क्षेत्रों में आधी रात तक चहल-पहल अधिक रहती है।