जिला कलक्टर एवं जिला मजिस्टे्रट ने धारा 144 दंड प्रक्रिया संहिता 1973 के तहत एक आदेश जारी कर, लोक स्वास्थ्य व विद्युत संचालन बाधा रहित बनाए रखने व पक्षियों के लिए खतरा बन चुके, धातुओं के मिश्रण से निर्मित मांझा तथा चाईनीज मांझा की थोक एवं खुदरा बिक्री तथा उपयोग को प्रतिबंधित करने के निर्देश जारी किए हैं। आदेशानुसार 31 जनवरी 2019 तक जिले के राजस्व क्षेत्राधिकार में यदि कोई भी व्यक्ति उपरोक्त प्रकार के मांझों का भण्डारण, विक्रय या परिवहन करेगा, तो उसके विरूद्ध यथा उचित सम्य्क कानून के तहत कार्यवाही की जाएगी। आमजन को यह भी निषेध किया गया है कि पक्षियों को नुकसान से बचाने के लिए प्रातः 6 से 8 बजे तथा सायं 5 से 7 बजे तक पतंग उड़ाने पर प्रतिबंध रहेगा। आदेशानुसार, मकर संक्रांति पर्व पर पतंगबाजी के लिए धातुओं के मिश्रण से निर्मित मांझा तथा चाईनीज मांझा प्रयोग में लिया जा रहा है। विभिन्न धातुओं के मिश्रण के प्रयोग से तैयार होने के कारण यह पतंग के पेंच लड़ाने में अधिक कारगर होता है, इस कारण इसका प्रयोग अधिक किया जा रहा है। यह मांझा धारदार तथा विद्युत का सुचालक होता है, जिसके उपयोग से दोपहिया वाहन चालकों तथा पक्षियों को अत्यधिक जान-माल का नुकसान होने की आशंका होती है, साथ ही विद्युत का सुचालक होने के कारण विद्युत तारों के सम्पर्क में आने पर विद्युत प्रवाह होने से पतंग उड़ाने वाले को भी नुकसान पहुंचना एवं विद्युत सप्लाई में बाधा उत्पन्न होना संभावित है। इस समस्या एवं खतरे के निवारण के लिए उक्त धातु निर्मित मांझा तथा चाईनीज मांझा उपयोग एवं विक्रय के लिए निषेध किया गया है। इस आदेश की अवमानना भादसं की धारा 188 के अंतर्गत दंडनीय अपराध होगी।