महाराव शेखाजी संस्थान के तत्वावधान में महाराव शेखाजी की 585 वीं जयन्ती शेखावत कॉलोनी के करणी माताजी मन्दिर सभागार में संस्थान के अध्यक्ष डॉ. अमरसिंह शेखावत की अध्यक्षता में समारोहपूर्वक मनाई गई। इस अवसर पर डॉ. शेखावत ने कहा कि शेखाजी हिन्दू-मुस्लिम एकता के प्रतीक व स्त्री रक्षक थे। वे स्वाभिमानी, संगठक, मर्यादा पुरूष, त्यागी व बलिदानी, पराक्रमी, युग पुरूष थे। उनके आदर्शों को जीवन में उतारने की महत्ति आवश्यकता है। समारोह के मुख्य अतिथि एसो. प्रो. डा. शंकर सिंह गौड़ ने कहा कि शेखाजी सरल व्यक्तित्व, बुद्धि व चातुर्य की प्रचुरता व त्यागी महामानव थे। विशिष्ट अतिथि शिक्षा अधिकारी गोविन्द सिंह राठौड़ ने कहा कि समय के अनुसार शिक्षा की महत्ता को देखते हुए युवाओं को कठोर परिश्रम से आगे बढऩे की जरूरत है। पूर्व एडि.एस.पी. रामसिंह बीका ने मॉं करणीजी के जीवन पर ओजस्वी कविता गाकर समारोह में समा बांधी। प्रारंभ में अतिथियों ने दीप प्रज्जवलित कर महाराव शेखाजी एवं बणीरजी को पुष्पांजलि अर्पित की। सचिव ज्ञानसिंह ख्याली ने महाराव शेखाजी को श्रद्धांजलि अर्पित की। व्याख्याता महावीर सिंह ने महाराव शेखाजी की प्रेरणादायक जीवनी पर प्रकाश डालते हुए युवाओं को अनके आदर्शों पर चलने का आव्हान किया। कप्तान मदनसिंह, रतन सिंह, गुलाब सिंह, केशरी सिंह, कप्तान नारायण सिंह व कमल सिंह राठौड़ ने अतिथियों का माल्यार्पण कर स्वागत किया। लख्खू सिंह शेखावत ने संचालन किया। इस अवसर पर राकेश सिंह, जगमाल सिंह टकणेत, राजेन्द्र सिंह शेखावत ख्याली, एडवोकेट पवन सिंह, कुलदीप सिंह राठौड़, कुन्दन सिंह, रामसिंह जोड़ी, कुशल सिंह, मोहन लाल, लादू सिंह आदि बड़ी संख्या में गणमान्यजन की उपस्थित रही। कप्तान मदन सिंह शेखावत ने आभार जताया। सभी उपस्थित गणमान्यजनों ने महाराव शेखाजी को पुष्पांजलि दी।