चुरूताजा खबर

कोरोना से प्रभावित जरूरतमंदों को मिलेगा दो माह का राशन

ई मित्र मोबाइल एप पर आधार, जन आधार कार्ड व मोबाइल नंबर के जरिए करा सकते हैं पंजीयन

प्रवासी श्रमिकों को भी मिलेगा लाभ

चूरू, कोरोना वैश्विक महामारी से प्रभावित है, इसे देखते हुए राज्य सरकार ने जरूरतमंद नॉन-एनएफएसए (राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा योजना में सम्मिलित नहीं) परिवारों को भी दो माह का राशन देने का निर्णय लिया है। जिला कलक्टर संदेश नायक के निर्देशानुसार जिले में 37 विभिन्न श्रेणियों के लोगों का सर्वे किया जा रहा है, जिनका रोजगार प्रभावित हुआ है। खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग की ओर से बाहर से लौटे प्रवासी श्रमिकों को भी इसमें लाभ दिया जाएगा। जिला कलक्टर संदेश नायक ने बताया कि पात्र एवं जरूरतमंद लोगों को लाभ देने के लिए ग्रामीण क्षेत्रों में ग्राम पंचायत स्तरीय कोर ग्रुप व बीएलओ तथा शहरी क्षेत्रों में नगरीय निकायों एवं बीएलओ के माध्यम से सर्वे किया जा रहा है। इसके साथ ही यह व्यवस्था भी की गई है कि कोई भी इच्छुक पात्र व्यक्ति किसी भी ई मित्र केंद्र पर जाकर अपने जन आधार कार्ड, आधार कार्ड तथा मोबाइल फोन के जरिए ई मित्र एप पर अपना पंजीयन इसमें करवा सकता है। व्यक्ति स्वयं भी अपना पंजीयन करा सकता है। मोबाइल नंबर वही दर्ज होगा, जो आधार व जन आधार में दर्ज है। जिन लोगों को एनएफएसए में गेहूं नहीं मिल रहा है, केवल उन्हें ही इसमें आवेदन करना है। उन्होंने बताया कि अन्य राज्यों से लौटे प्रवासियों, जिनका पंजीयन जन आधार में नहीं होेने के कारण कोई डेटा उपलब्ध नहीं है, ऎसे प्रवासियों की सूचना आधार नंबर के आधार पर ई मित्र मोबाइल एप में दर्ज कर प्राप्त की जाएगी। उन्होंने बताया कि ऎसे परिवारों को दो माह तक पांच किलो प्रति सदस्य के हिसाब से गेहूं दिया जाएगा।
-इन श्रेणियों के लोग होंगे पात्र
जिला कलक्टर संदेश नायक ने बताया कि राज्य सरकार की ओर से लॉक डाऊन से प्रभावित उद्योग-धंधों एवं कार्यरत श्रमिकों की 37 श्रेणियां निर्धारित की हैं, जिसमें हैयर सैलून कार्मिक, कपड़े धुलाई एवं प्रेस करने वाले, फुटवेयर मरम्मत व पॉलिश करने वाले, घरों में साफ-सफाई एवं खाना बनाने वाले, चौराहों पर सामान बेचकर किसी स्थान पर भोजन बनाकर खाने वाले, रिक्शा/ऑटो चलाने वाले, पान की दुकान चलाने वाले, रेस्टोरेंट-होटल के वेटर-रसोइये, रद्दी बीनने वाले, भवन निर्माण कार्यों में नियोजित निर्माण श्रमिक, प्राइवेट-पब्लिक ट्रांसपोर्ट में कार्यरत ड्राइवर-कंडक्टर, ठेला-रेहड़ी वाले स्ट्रीट वेंडर जो एनएफएसए में शामिल नहीं हों, धार्मिक संस्थाओं में पूजा-इबादत-कर्मकांड व धार्मिक कार्य कराने वाले व्यक्ति, विवाह-निकाह व अन्य कार्य संपादित कराने वाले व्यक्ति, मेरिज पैलेस/केटरिंग में कार्य करने वाले व्यक्ति, सिनेमा हॉल में काम करने वाले श्रमिक शामिल किए गए हैं। इसके साथ ही कोचिंग संस्थानों में सफाई या सहायक का काम करने वाले लोग, विवाह समारोह आदि में बैंड-ढोल बजाने वाले, गाने-बजाने वाले तथा घोड़ी वाले कार्मिक, नगीनों-आभूषण-चूड़ियों के काम में लगे श्रमिक, फर्नीचर के काम में लगे श्रमिक, बुक बाइंडर-प्रिंटिंग पे्रेस कार्मिक, सभी प्रकार की रंगाई, पुताई, डाइंग-कालरिंग के काम में लगे श्रमिक, टायर पंक्चर बनाने, पर्यटन गाइड का काम करने वाले, कठपुतली बनाने वाले व दिखाने वाले, ईंट-भटटों में लगे श्रमिक, टायर पंक्चर बनाने वाले श्रमिक, पत्तल-दौने बनाने के काम में लगे श्रमिक, घुमंतू-अद्र्धघुमंतू लोग, गाड़िया लुहार, झूले वाले, खेल तमाशा दिखाने वाले, जादू करतब दिखाने वाले, कालबेलिया, मांगणियार आदि लोक कलाकार, मिट्टी के बर्तन बनाने वाले व इस प्रकार से ही प्रभावित रोजगार वाले अन्य लोगों को दो महीने का राशन पंजीयन के बाद दिया जाएगा।

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