झुंझुनू में ओला का तो पिलानी में काला का ही बताया जा रहा है बोलबाला
झुंझुनू, पिछली बार झुंझुनू जिले में पांच विधानसभा क्षेत्रो पर कांग्रेस ने अपना कब्जा जमाया था। एक पर बसपा व एक सीट बीजेपी को मिली थी लेकिन इस बार जिले में भाजपा की सीटों की बढ़त को तय माना जा रहा है। वही बात कांग्रेस की करें तो इस बार झुंझुनू विधानसभा क्षेत्र और पिलानी विधानसभा क्षेत्र से ही कांग्रेस का पलड़ा भारी बताया जा रहा है। झुंझुनू विधानसभा क्षेत्र से बृजेंद्र ओला और वही पिलानी विधानसभा क्षेत्र से पितराम सिंह काला का नाम ही जीत के ज्यादा समीप देखा जा रहा है। झुंझुनू विधानसभा क्षेत्र में मुकाबला त्रिकोणीय था यहां पर कांग्रेस से परिवहन मंत्री बृजेंद्र ओला भाजपा से बबलू चौधरी वहीं निर्दलीय के रूप में राजेंद्र भांबू ने ताल ठोकी थी। राजेंद्र भांबू के साथ अल्पसंख्यक तबका बड़ी संख्या में जुड़ा था लेकिन यह संख्या ईवीएम मशीन में उनके पक्ष में कैद हुई हो तो परिणाम में तब्दीली भी आ सकती है। लेकिन यहां पर माना जा रहा है कि ज्यादातर अल्पसंख्यक समाज कांग्रेस के हाथ के साथ ही गया है जिसके चलते एक बार फिर से यहां पर बृजेंद्र ओला की जीत मानी जा रही है। हालांकि इस बार उनकी जीत का आंकड़ा ज्यादा उचाई नहीं छू पाएगा ऐसा आकलन किया जा रहा है। वहीं लोगों में इस बार यह चर्चा भी खूब रही कि प्रदेश में अब तक जो भी परिवहन मंत्री बना है वह अगला चुनाव नहीं जीत पाया लेकिन माना जा रहा है कि बृजेंद्र ओला इस बार इस मिथक को भी तोड़ देंगे।
इस बार राजनीतिक विश्लेषकों के भी विश्लेषण करने में पसीने छूटे हुए हैं क्योंकि तीनों उम्मीदवारों के साथ ही भीड़ का काफिला देखा गया था। इस काफिले में से उनके पक्ष में कितने वोट के रूप में तब्दील हो पाते हैं इसी से इनका आंकड़ा तय होगा। वही बात पिलानी विधानसभा क्षेत्र की करें तो यहां पर ज्यादातर लोग पितराम सिंह काला को ही लाभ की स्थिति में बता रहे हैं और यदि यह जीत का आंकड़ा छूते हैं तो जीत में ज्यादा मार्जिन नहीं रहेगा। यहां पर भी मामला त्रिकोणीय था जिसमें भाजपा से राजेश दहिया और निर्दलीय के रूप में भाजपा के दिग्गज नेता सुंदरलाल के बेटे कैलाश मेघवाल मैदान में थे। कैलाश मेघवाल बीजेपी के परिदृश्य से आते हैं लेकिन मैदान में आने के बाद किस उम्मीदवार को उन्होंने ज्यादा नुकसान पहुंचाया है यह भी देखने वाली बात होगी। लेकिन ओवर ऑल देखा जाए तो झुंझुनू और पिलानी विधानसभा क्षेत्र ही ऐसे हैं जहां पर कांग्रेस के जीत की प्रबल आसार नजर आ रहे हैं। लेकिन राजनीतिक संभावनाओं का खेल है जो पहले राजनेता खेलते थे लेकिन इस बार के विधानसभा चुनाव में लगता है यह खेल जानता खेल रही है जिसके चलते कुछ भी कह पाना जल्दबाजी होगा। यदि आपको लगता है कि 3 दिसंबर को आने वाले नतीजे इससे कुछ अलग होंगे तो आप विधानसभा क्षेत्र के साथ जीतने वाले प्रत्याशी का नाम हमें कमेंट करें। शेखावटी लाइव ब्यूरो रिपोर्ट झुंझुनू