मुंबई में करोड़ो की लुट के फरार आरोपी गिरफ्तार
करोडो रूपयो के हीरे की ज्वैलरी, सोने के बिस्कीट व नगदी बरामद
गिरफ्तार आरोपी पूर्व में एनडीपीएस एक्ट व हत्या के प्रकरण में जा चुके है जेल
सरदारशहर, [चैनरूप वर्मा ] चूरू जिले की पुलिस ने मुम्बई में करोड़ों की लूट के फरार दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है। पुलिस अधीक्षक राजेश कुमार मीना ने बताया कि अपराधियों की धरपकड अभियान के दौरान पुलिस को मुखबिर द्वारा पता चला की कुछ संदिग्ध शख्स दक्षिण भारत में कही कोई बड़ी लुट की घटना को अंजाम देकर जिले में आये हुए है। जिस पर जिला पुलिस की अलग अलग टीमें गठित कर डीएसटी व सभी टीमों द्वारा संयुक्त कार्य करते हुए रविवार को देराजसर के पास सड़क पर संदिग्ध महेन्द्र निवासी सवाई डेलाना व मनोज निवासी अलखपुरा सीकर को ईनोवा गाडी सहित दस्तयाब कर गहनता से पुछताछ की गई, तो महेन्द्र ने अपने साथीगण किशन नाथ निवासी मेहरावणसर व अशोक निवासी सांवलोद सीकर के साथ मिलकर मुम्बई महाराष्ट्र के एक ज्वैलर्स से सोना व हीरे जडित ज्वैलरी तथा नगदी रूपयो की लूट करना स्वीकार किया। जिसकी तस्दीक पुलिस थाना सायन मुम्बई महाराष्ट्र से होने पर उक्त दोनो शख्सो को गिरफतार कर थानाधिकारी सरदारशहर के सुपुर्द किया गया। जिनकी निशानदेही पर थानाधिकारी सतपाल विश्नोई व टीम के विशेष प्रयास से करीब 01 करोड़ 10 लाख रूपये से अधिक मूल्य के आभूषण, 1 किलोग्राम सोने के बिस्कीट व 18 लाख रूपये नगद बरामद किये गये। पुलिस सूत्रों के अनुसार हरीराम निवासी बाकलिया पुलिस थाना लाडनु जिला नागौर हाल निवासी गिराज कोम्प्लेक्स कोटी ओबीडस हैदराबाद तेलंगाना में ज्वैर्ल्स का काम करता है जो 31 मई 2023 को सुबह अपने ज्वैलरी व्यवसाय के संबंध में हैदराबाद से मुम्बई आया था। उक्त पीडित से सफेद इनोवा कार मे आये चार जवान लडको ने अपने आप को क्राईम ब्रांच दिल्ली से बताकर आभूषण व नगदी लुटकर ले गये। करीब 02 करोड़ 62 लाख रूप्ये की लूट की घटना पर पुलिस सायन वृहत मुम्बई महाराष्ट्र में प्रकरण दर्ज होना पाया गया। मुम्बई पुलिस द्वारा मुल्जिमान को जिला पुलिस के सहयोग से गिरफ्तार कर शेष माल की बरामदगी के प्रयास किए जा रहे है।
घटना का मास्टर माईण्ड महेन्द्र सहारण का दोस्त प्रशान्त चौधरी है, जो सरदारशहर का रहने वाला है एवं हैदराबाद में एक ज्वैर्ल्स की दुकान पर नौकरी करता है। महेन्द्र व प्रशान्त ने मिलकर लूट की योजना बनाई। योजना के अनुसार महेन्द्र ने अपने साथी किशननाथ, अशोक व मनोज के साथ मिलकर उक्त लूट की वारदात को अंजाम दिया। महेन्द्र व उसके साथी ईनोवा गाडी से मुम्बई पहुंचे। प्रशान्त चौधरी हैदराबाद से जिस बस से मुम्बई पहुंचा उसका लगातार पीछा कर मुम्बई पहुंचते ही प्रशान्त व उसके साथी को अपनी गाडी मे बैठा लिया। स्वयं व साथियो को दिल्ली काईम ब्रांच के अधिकारी बताते हुए समस्त ज्वैलरी आभूषण टैक्स चोरी के होना बताकर लूट लिये। उक्त कार्रवाई को अंजाम देने वाली टीम में सरदारशहर थानाधिकारी सतपाल बिश्रोई, सीआई सुभाष बिजारनीया, डीएसटी प्रभारी सुरेश कस्वां, हैडकांस्टेबल संदीप रूलानिया, कांस्टेबल कुलदीप, प्रमोद, मुकेश भाकर, विक्रम, धन्नाराम, प्रभारी साईबर सेल चूरू भागीरथ, सरदारशहर के हैडकांस्टेबल रामचन्द्र बुडानिया, कांस्टेबल नरेश, नन्दलाल, अनिल, मनोज, महेन्द्र, सत्यप्रकाश, रतनगढ के कांस्टेबल जगदीश, विकास, मनोज, मुकेश कुमार व धर्मेन्द्र कुमार आदि शामिल रहे।