कृषि बजट 2023-24 को लेकर जिला परिषद सभागार में हुई आमुखीकरण कार्यशाला में अधिकारियों, जनप्रतिनिधियों ने की शिरकत
चूरू, जिला प्रमुख वंदना आर्य ने कहा है कि चूरू जैसे कृषि प्रधान जिले में किसानों के लिए संचालित योजनाओं का अधिक से अधिक लाभ उन्हें मिले, यह हम सभी की कोशिश रहनी चाहिए। इसके लिए जरूरी है कि किसानों से जुड़ी योजनाओं का अधिक से अधिक प्रचार-प्रसार हो। जिला प्रमुख वंदना आर्य बुधवार को जिला परिषद सभागार में कृषि विभाग की ओर से कृषि बजट 2023-23 को लेकर आयोजित आमुखीकरण कार्यशाला को संबोधित कर रही थीं। उन्होंने कहा कि सभी संबंधित विभागों के अधिकारी किसानों से संबंधित योजनाओं में उनसे संवेदनशीलता से पेश आएं और यह कोशिश करें कि अधिकतम किसानों को इन योजनाओं का लाभ मिले।
तारानगर प्रधान संजय कस्वां ने कहा कि राज्य सरकार की ओर से कृषि बजट के रूप में एक जोरदार शुरुआत की गई है और इसका लाभ राज्य के किसानों को मिल रहा है। उन्होंने कहा कि कृषकों से संबंधित योजनाओं का लाभ अंतिम छोर के किसान तक पहुंचना चाहिए। उन्होंने विभिन्न योजनाओं का जिक्र करते हुए कहा कि योजनाओं का लाभ काफी किसानों को मिल रहा है। अधिक से अधिक प्रचार करके इनकी और भी धरातल तक पहुंच सुनिश्चित की जा सकती है। उप प्रमुख महेंद्र न्यौल ने चूरू मंडी स्थित सब्जी मंडी में साफ-सफाई व्यवस्था को बेहतर बनाने की जरूरत बताई और कहा कि अधिकारियों को संवेदनशील होकर किसानों को योजनाओं का लाभ देना चाहिए।
अतिरिक्त मुख्य कार्यकारी अधिकारी हरीराम चौहान ने विभिन्न योजनाओं की जानकारी दी और अधिकारियों को निर्देशित किया कि वे आपस में समन्वय रखते हुए राज्य सरकार की मंशा के अनुसार किसानों को योजनाओं से लाभान्वित करें। संयुक्त निदेशक (कृषि-विस्तार) अजीत सिंह ने कृषि बजट में किए गए प्रावधानों और की गई घोषणाओं के क्रियान्वयन की प्रगति से अवगत कराते हुए कृषि प्रसंस्करण व्यापार व निर्यात नीति, खेत तलाई, प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना, तारबंदी योजना, राज किसान साथी पोर्टल आदि के बारे में जानकारी दी। पशुपालन विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ मेवाराम तथा सहायक निदेशक डॉ निरंजन चिरानियां ने पशुपालकों के लिए संचालित योजनाओं की जानकारी देते हुए बताया कि जिन गौशालाओं में पानी की व्यवस्था नहीं है, उनमें ट्यूबवैल बनाए जाने के लिए प्रस्ताव मांगे गए हैं। उन्होंने बताया कि बजट घोषणा की अनुपालना में लंपी व संक्रामक रोगों से पशुओं की मृत्यु पर उनके अवशिष्ट के निस्तारण के लिए कारकस प्लांट की स्थापना के लिए राजगढ़ की श्री जुबली पिंजरापोल गौशाला सादुलपुर की भूमि में से पांच बीघा भूमि के लिए अनापत्ति एवं सहमति हो गई है।
कार्यशाला में आत्मा के परियोजना निदेशक दीपक कपिला, सहायक निदेशक कृषि कुलदीप शर्मा, एलडीएम अमर सिंह, डिस्कॉम एसई वीआई परिहार, सहकारिता के डिप्टी रजिस्ट्रार संदीप शर्मा, उप निदेशक (उद्यान) धर्मवीर, सुजानगढ़ मंडी सचिव सलीम मोहम्मद कादरी, सरदारशहर मंडी सचिव कमल सोनी, उद्यान विभाग के रामावतार, गोविंद सिंह राठौड़, वाटरशेड एसई आनंद सिंह गहलोत, परमेश्वर लाल, चेतन शर्मा, संजय पाल, राकेश बारूपाल, विनोद कुमार आदि मौजूद थे।