झुंझुनूताजा खबर

भीम आर्मी एवं आजाद समाज पार्टी ने मुख्यमंत्री के नाम सौंपा ज्ञापन

झुंझुनू, आज जिला मुख्यालय झुंझुनू पर भीम आर्मी एवं आजाद समाज पार्टी द्वारा उदयपुर सलुन्बर जिले के शंकर लाल मेघवाल हत्याकांड मामले को लेकर प्रदीप चंदेल के नेतृत्व में जिला कलेक्टर के मार्फत मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सोपा गया। प्रदीप चंदेल ने बताया कि 25 जुलाई को शंकर लाल एवं उसके पिता घर में बैठे हुए थे तभी कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा उन पर तलवारो से ताबड़तोड़ हमला किया जाता है जिसमें शंकर लाल का सर धड़ से अलग हो जाता है और मौके पर ही वो दम तोड़ देता है और उसके पिता बीच बचाव के लिये आगे आते है तो हमलावर द्वारा उन पर भी हमला होता है जिससे उसके पिता का भी एक हाथ शरीर से अलग कर दिया जाता है। गंभीर घायल अवस्था में उन्हे उदयपुर के एमबी अस्पताल में एडमिट कराया जाता उनकी भी हालत अभी भी नाजुक बनी हुई है। ऐसी घटनाओं की हम निंदा करते हैं। मुख्यमंत्री से मांग करते हैं कि मृतक परिवार को दो सरकारी नौकरी और एक करोड़ आर्थिक सहायता के रूप में मुआवजा दिया जाए एवं इस प्रकरण में शामिल अन्य लोगों को चिन्हित कर तुरंत गिरफ्तार करके कठोर कार्रवाई की जाए। पीड़ित परिवार को सुरक्षा प्रदान की जाए। इस प्रकार के अपराधों की पूनरावर्ती ना हो इसके लिए ठोस नीति बनाई जाए।ये हमारी मुख्य मांगे रही। राजस्थान में चाहे कांग्रेस की सरकार रही हो या बीजेपी की सरकार रही हो दोनों ही सरकार के कार्यकाल में दलित ,आदिवासी मुस्लिमो पर अत्याचार लगातार बढ़ रहे है इन अपराधों को रोकने के लिए बीजेपी सरकार जल्द से जल्द कानून व्यवस्था को दुरुस्त करते हुए संज्ञान ले। उदयपुर के कन्हैयालाल हत्याकांड में जिस प्रकार पूरे राजस्थान ओर देश के लोगो मे विरोध था।लेकिन दलित शंकरलाल मेघवाल उनके पिता के साथ भी ठीक उसी तरह की घटना घटित होती है पूरा शासन ,विपक्ष,विधायक,मंत्री सब के सब चुप है। क्यु की वो मरने वाला दलित है। कहां है वह हिंदू संगठन जो हिंदू राष्ट्र बनाने और हिंदू एकता की बात करता है। कहां है बीजेपी सरकार जो विधानसभा चुनाव से पहले अपने नारों में बोलते थे बहुत हुआ दलितों पर अत्याचार अब नहीं सहेगा राजस्थान। कहां है वह कांग्रेस पार्टी के लोग जो विपक्ष में बैठा हुआ अभी भी मौन है जो अपने आप को दलितों की हितेषी बताती है। भीम आर्मी चीफ एवं नगीना सांसद चंद्रशेखर आजाद ने संसद भवन में आवाज उठाने का प्रयास किया लेकिन उनको बोलने का समय नहीं दिया गया तो उन्होंने संसद के बाहर आकर विरोध प्रदर्शन किया। लोगों को न्याय भी अब जाति देखकर दिया जा रहा है। ज्ञापन देते समय भाई सकिल फौजी, विकास मेघवाल देरवला,अजीत धनुरी विलास फुलवारिया ,राशिद खान, राकेश कुमार, श्याम सुंदर, बुधराम गुलजारीलाल ,संजय कुमार, शीशराम ईश्वर,प्रमोद कुमार, मदनलाल आदि मौजूद थे।

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