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दो फौजी भाइयों के हत्यारों की गिरफ्तारी को लेकर गांव वालों ने कलेक्ट्रेट के दरवाजे को किया बंद

फौजी भाई के हत्यारों की गिरफ्तारी को लेकर दूसरे फौजी भाई को भी अपनी जान गवानी पड़े और उसके ऊपर भी हत्यारों को गिरफ्तार ना हो और यही नहीं अनजान लोगों ने अन्न और जल त्यागने तक का भी संकल्प ले लिया है मगर बावजूद इसके भी झुंझुनू पुलिस प्रशासन की नींद नहीं उड़ रही है और गांव वालों ने आरोप लगाया है कि अपने भ्रष्ट अधिकारी को बचाने के लिए जिला पुलिस प्रशासन हमें इंसाफ नहीं दे रहा है जी हां हम बात कर रहे हैं झुंझुनू के सूरजगढ़ के शाहपुरा गांव के फौजी अखिलेश और फौजी संदीप के हत्यारों की गिरफ्तारी को लेकर गौरतलब है कि 2 दिसंबर को फौजी अखिलेश की शाहपुरा गांव के पास ही लोगों ने पीट-पीट कर हत्या कर दी और उसके हत्यारों की गिरफ्तारी को लेकर गांव वाले 21 जनवरी से कलेक्ट्रेट के बाहर धरने पर बैठे रहे और कल 29 जनवरी को मृतक फौजी अखिलेश के बड़े भाई फौजी संदीप को भी हत्यारों ने मौत की नींद सुला दिया मगर बावजूद इसके पुलिस सबूत ढूंढ रही है बल्कि यूं कहें कि सूरजगढ़ थाना अधिकारी कमलेश चौधरी को बचाने की जिला पुलिस कोशिश कर रही है गांव वालों ने आरोप लगाया है कि हमारे पास पूरे सबूत है कि हत्यारों को बचाने के लिए सूरजगढ़ थाना इंचार्ज ने बड़ी रकम वसूली है हम जिला प्रशासन से कई बार गुहार लगा चुके मगर जिला प्रशासन हमारी मांग की ओर कोई ध्यान नहीं दे रहा मृतक फौजी संदीप के जिस्म पर 27 चोटे थी इसके बावजूद भी थाना इंचार्ज कमलेश चौधरी ने एक्सीडेंट करार दे दिया वही कल संदीप फौजी को भी गांव वालों के बताए अनुसार दो बार गाड़ियों से रिवर्स कर कर के टक्कर मारकर मौत की नींद सुला दिया और पुलिस इसको भी एक्सीडेंट ही मान रही है जिसको लेकर आज गांव वालों ने कलेक्ट्रेट के दोनों दरवाजे लगभग 3 घंटे तक बंद रखें आखिरकार सूरजगढ़ विधायक सुभाष पूनिया और जिला प्रशासन की समझाइश पर दरवाजे तो खुले हैं मगर गांव वाले अब भी दोनों फौजी भाइयों को इंसाफ दिलाने के लिए दरवाजे के ऊपर ही बैठे हैं यही नहीं दोनों फौजी भाइयों के हत्यारों की गिरफ्तारी को लेकर एक अनजान शख्स हर फूल ने आज अन्न और जल त्याग ने की भी धरना स्थल पर घोषणा कर दी है हरफूल सिंह का कहना है कि समाज को जगाने और अपने स्वाभिमान को जगाने के लिए अन्न और जल त्याग रहे हैं वही दोनों फौजी भाइयों के मामा ने मांग की है कि या तो गृहमंत्री आएगा संदीप फौजी के दाह संस्कार के लिए या फिर फौज का कर्नल आएगा जो फौजी संदीप का शव लेगा और उसका दाह संस्कार करेगा मगर हम जब तक हमे इंसाफ नहीं मिलेगा हम फौजी संदीप का शव का दाह संस्कार नहीं करेंगे।

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