झुंझुनूशिक्षा

विद्यार्थी जीवन जिंदगी का स्वर्ण-काल –महामण्डलेश्वर स्वामी ज्ञानानन्द महाराज।

इन्टरनेशनल विज्ड़म सिटी स्थित झुंझुनूं एकेडमी सी.बी.एस.ई. स्कूल में शुक्रवार को कुरूक्षेत्र से पधारे परम पूज्य गीता मनीषी महामण्डलेश्वर स्वामी ज्ञानानन्द महाराज का जोरदार स्वागत किया गया। सर्वप्रथम जीवेम् नवरंग कला मंडपम् में स्कूल प्राचार्य डॉ. रविशंकर शर्मा, हैड-मिस्टे्रस सरोज सिंह एवं प्रशासक रोहिताश्व पूनिया ने सामूहिक रूप से पुष्प गुच्छ भेंट कर सभी अतिथियों का स्वागत अभिनंदन किया साथ ही छात्र-छात्राओं ने भी तिलक लगाकर चरणवंदना की। इसके पश्चात् सभी ने सामूहिक रूप से मां सरस्वती के आवक्ष सम्मुख दीप प्रज्ज्वलन कर कार्यक्रम का विधिवत् शुभारंभ किया। स्वामी ज्ञानानन्द महाराज ने अपने उद्बोधन में कहा कि विद्यार्थी जीवन जिंदगी का स्वर्ण- काल माना जाता है। इसी जीवन में विद्यार्थी किताबी एवं सांसारिक ज्ञान सीखता है। जीवन में तीन बातें महत्वपूर्ण हैं कि विद्यार्थियों को शारीरिक, मानसिक एवं आध्यात्मिक रूप से मजबूत बनना चाहिए। शरीर के साथ-साथ मन पर भी नियंत्रण रखें, एकाग्रता बनाए रखें। जीवन के हर क्षेत्र में सफल होने के लिए एकाग्रता बहुत जरूरी है। एकाग्रता होगी तो विद्यार्थियों की स्मरण शक्ति बढ़ेगी। बुद्धि और ज्यादा प्रखर होगी, समय की बचत होगी तथा एक नई ऊर्जा का संचार विद्यार्थियों में होगा। उन्होंने विद्यार्थियों को जीवन में सफल होने के लिए बेहद आसान फॉर्मूले के माध्यम से बताया कि किसी भी चीज का महत्व बढ़ेगा तो उसके प्रति विद्यार्थियों में आनंद व उत्साह बढ़ेगा, गंभीर रहकर पढ़ाई करोगे तो बुद्धि में और ज्यादा निखार आएगा, बुद्धि में निखार आएगा तो एकाग्रता बढ़ेगी तथा आत्मविश्वास भी बढ़ेगा। सफलता का यही सबसे महान सूत्र है।

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