Breaking Liveझुंझुनूताजा खबरराजनीतिविशेषवीडियो

Video News – “भाया छलकड़ी ही घर बांध ले जणा बाबो बुढ़ली न कोनी ल्याव” – प्रभारी मंत्री गहलोत पर कसा तंज

कांग्रेस जिलाध्यक्ष दिनेश सुंडा ने तंज कसते हुए प्रभारी मंत्री को भी बताया पर्ची के मंत्री

झुंझुनू, झुंझुनू जिले के प्रभारी मंत्री अविनाश गहलोत जब-जब झुंझुनू के दौरे पर आते हैं तो विरोध, आक्रोश के साथ बवाल की खबरें भी देखने को मिलती हैं। बैठे-बिठाए ही विपक्ष को भी प्रभारी मंत्री कुछ ऐसे मुद्दे दे जाते हैं जिसको लेकर विपक्ष हमलावर हो जाता है। ऐसा ही ताजा मामला सामने आया है जिस पर कांग्रेस जिला अध्यक्ष दिनेश सुंडा ने प्रभारी मंत्री अविनाश गहलोत पर बड़ा हमला बोलते हुए कहा है कि जिले के प्रभारी मंत्री के रूप में बड़ी जिम्मेदारी दी जाती है लेकिन वह जब से आए हैं विवादों में ही रहे हैं। जिले के बारे में उनका जीरो नॉलेज है। रेलवे ओवरब्रिज के मामले पर बोलते हुए भी उन्हें बैक फुट पर आना पड़ा था। सुंडा ने कहा कि काम की पूजा होती है और काम इनको आता नहीं और यह है सिर्फ सम्मान करवाना ही चाहते हैं। उन्होंने प्रभारी मंत्री पर वार करते हुए ठेठ मारवाड़ी अंदाज में कहा कि भाया छलकड़ी ही घर बांध ले जणा बाबो बुढ़ली न कोनी ल्याव। आगे अपनी बात को स्पष्ट करते हुए उन्होंने कहा कि किसी भी पद पर आने के लिए आपको अनुभव होने की आवश्यकता है आपको यदि अनुभव नहीं है और कह कर किसी से सम्मान कर आओगे तो कैसे चलेगा। काम करना उनको आता नहीं सिर्फ कांग्रेस कांग्रेस चिल्लाते रहते हैं क्योंकि इनको ट्रेनिंग ही यही दी गई है। वही प्रभारी मंत्री की समीक्षा बैठक के मामले बोलते उन्होंने कहा कि वह अधिकारियों की बैठक कम बीजेपी की बैठक ज्यादा थी और कांग्रेस सरकार में कभी भी किसी राजनेता को यह नहीं कहना पड़ा की जन प्रतिनिधियों का सम्मान करें दोनों ही एक दूसरे का सम्मान करते थे और यहां पर यह लोग कह कर सम्मान करवा रहे हैं। भाजपा में जो चुनाव हार गया वह भी अपने आप को मंत्री समझता है। कर्मचारियों को डराते हैं धमकाते हैं तुम्हारा ट्रांसफर करवा देंगे यदि ऐसा ही चलता रहा तो जनता इनका मुख्यमंत्री और मंत्री पद भुला देगी और जब जनता टोरे लेने शुरू करती है तो छुटाने वाला भी नहीं मिलता है. वही सुंडा का कहना था कि अनुभवहीन व्यक्ति को प्रभारी मंत्री बना दिया गया है उन्हें तो प्रभारी मंत्री की परिभाषा ही मालूम नहीं है। काम और डेवलपमेंट के मुद्दे पर इन्हें पूरी जानकारी नहीं है। यह शौर्य उद्यान, रेलवे ओवर ब्रिज, खेल यूनिवर्सिटी की कुछ भी जानकारी नहीं है। बस कैसे भी कर्मचारी अधिकारियों को डरा धमकाकर विधानसभा उपचुनाव में सफलता हासिल कर लें लेकिन आने वाले राजस्थान के पांच विधानसभा उप चुनाव में इनको बैक फुट पर ही आना पड़ेगा इनका खाता भी नहीं खुलेगा। शेखावाटी लाइव ब्यूरो रिपोर्ट झुंझुनू

Related Articles

Back to top button