
सूरजगढ़, आदर्श समाज समिति इंडिया के कार्यालय सूरजगढ़ में धर्मपाल गांधी के नेतृत्व में महिला सशक्तिकरण की प्रतीक विश्व स्तरीय महान सामाजिक कार्यकर्ता, स्वतंत्रता सेनानी, भारत देश की प्रथम महिला मजिस्ट्रेट, अखिल भारतीय महिला सम्मेलन की स्थापना करने वाली क्रांतिकारी महिला, महिलाओं को चुनाव लड़ने और वोट का अधिकार दिलाने वाली मताधिकारवादी, शिक्षाविद् व दार्शनिक, लेखक, हमारे राष्ट्रगान जन-गण-मन की धुन बनाने वाली संगीतकार, भारत देश के लिए अपना जीवन समर्पित करने वाली भारत प्रेमी महिला थियोसॉफिस्ट मार्गरेट कजिन्स की पुण्यतिथि मनाई। महान क्रांतिकारी महिला मार्गरेट कजिन्स के छायाचित्र पर पुष्प अर्पित करते हुए उनके जीवन संघर्ष को याद किया। मार्गरेट कजिन्स एक महान क्रांतिकारी महिला थीं, जिन्होंने अपना संपूर्ण जीवन भारत की आजादी और महिलाओं के उत्थान के लिए समर्पित कर दिया। हमारा राष्ट्रगान जन गण मन… महज छंदों के एक संग्रह में सिमट कर रह सकता था। लेकिन आयरिश महिला मार्गरेट कजिन्स ने इस संग्रह को धुन देकर इसे गीत में परिवर्तित कर दिया और बाद में यह राष्ट्रगान बना। आदर्श समाज समिति इंडिया के अध्यक्ष धर्मपाल गाँधी ने बताया कि मार्गरेट कजिन्स का जन्म 7 नवंबर 1878 को आयरलैंड में हुआ था। उन्होंने डबलिन में रॉयल यूनिवर्सिटी ऑफ आयरलैंड में संगीत का अध्ययन किया। 1902 में स्नातक की उपाधि प्राप्त की और एक शिक्षक बन गई। सन् 1915 में मार्गरेट कजिन्स अपने पति जेम्स कजिन्स के साथ भारत आ गई। 1916 में वह पूना में भारतीय महिला विश्वविद्यालय की पहली गैर भारतीय सदस्य बनीं। 1917 में मार्गरेट कजिन्स ने एनी बेसेंट और डोरोथी जिनाराजादासा के साथ मिलकर ‘महिला भारतीय संघ’ की स्थापना की। उन्होंने WIA की पत्रिका स्त्री धर्म का संपादन किया। मार्गरेट कजिन्स मताधिकारवादी थी, उन्होंने शुरू से ही महिलाओं को वोट डालने का अधिकार देने की पैरवी की। 1921 में उनकी मेहनत रंग लाई और मद्रास प्रेसीडेंसी में महिलाओं को वोट डालने का अधिकार मिला। 1919-20 में वे मैंगलोर में नेशनल गर्ल्स स्कूल की पहली प्रमुख थी। 1922 में मार्गरेट कजिन्स भारत की प्रथम महिला मजिस्ट्रेट बनी। 1927 में मार्गरेट कजिन्स ने अखिल भारतीय महिला सम्मेलन की स्थापना की। बाद में वह इस संगठन की अध्यक्ष भी बनी। वह ध्वज प्रस्तुति समिति की सदस्य थी, जो संविधान सभा में हंसा मेहता के नेतृत्व में 74 भारतीय महिलाओं की एक समिति थी। समिति ने 14 अगस्त 1947 को भारत की महिलाओं की ओर से सदन में भारत का राष्ट्रीय ध्वज प्रस्तुत किया। मार्गरेट कजिन्स ने अपना संपूर्ण जीवन महिलाओं के अधिकारों और भारत देश की आजादी के लिए समर्पित किया। 11 मार्च 1954 को मद्रास में मार्गरेट कजिन्स का निधन हो गया। ऐसी महान शख़्सियत को आदर्श समाज समिति इंडिया परिवार नमन करता है। इस मौके पर वीर तेजाजी विकास संस्थान के सचिव शिवदान सिंह भालोठिया, प्रताप सिंह तंवर, दरिया सिंह डीके गुरावड़िया, धर्मपाल गांधी, सुनील गांधी आदि अन्य लोग मौजूद रहे।