विश्व में कोविड-19 तो राजस्थान में पायलट ग्रुप 19 पड रहा है भारी
झुंझुनू, 2020 का साल काफी कुछ परेशानियां लेकर अपने साथ आया और परेशानियां भी ऐसी ही कि आज तक भी आम आदमी उनसे उबर नहीं पाया। 2020 की साल में ही कोविड-19 आया जिसने के कारण देश विदेश में लॉकडाउन लगा। बड़ी संख्या मे भारत में मजदूरों का इधर से उधर पलायन हुआ । लॉकडाउन और पलायन के बुरे दिन को आम आदमी ना तो भूल पाया है और ना ही उसके कारण से पैदा हुई परेशानियों से उबर पाया है । 3 महीने के लॉक डाउन और कोरोना काल ने आम आदमी की आर्थिक रूप से इस 2020 के अंदर कमर ही तोड़ कर रख दी। वही राजस्थान की बात करें तो राजस्थान में पूर्ण बहुमत वाली सरकार पर भी 2020 में संकट आ गया और यह संकट भी आया पायलट ग्रुप के 19 विधायकों से। जिसके चलते कहा जा सकता है की राजस्थान की चल रही कांग्रेस सरकार पर भी यह 19 का आंकड़ा भारी पड़ा। इस प्रकार 2020 की साल में कोविड-19 वही राजस्थान में चल रही सरकार पर पायलट ग्रुप का 19 विधायकों का ग्रुप भारी पड़ा। जिसके कारण आज तक भी प्रदेश के अंदर सियासी घमासान मचा हुआ है । दोनों ही कांग्रेस के ग्रुप अलग-अलग स्थानों पर अपने तरीके से बड़ा बंदी किए हुए बैठे हैं । वही अधिकारियों को जैसलमेर की धमकी देने वाले राजनेताओं को भी इस सियासी संकट के दौरान जैसलमेर का मुंह देखना पड़ गया। कोविड-19 हो चाहे पायलट ग्रुप 19 हो इन दोनों की वजह से ही राजस्थान के अंदर हालात सामान्य नहीं है । जिसके चलते शासन प्रशासन भी प्रभावित हो रहा है और आम आदमी का कामकाज भी प्रभावित हो रहा है ।वर्तमान में कोविड-19 तथा राजस्थान सरकार का यह जो सियासी संकट है और इसके बीच में आम आदमी की जो समस्याएं हैं वह कहीं गौण हो गई है। जिसका खामियाजा गरीब तबके और मध्यम वर्ग के लोगों को ही उठाना पड़ रहा है। अब देखने वाली बात है कि अंक 19 के कारण जो यह संकट आया है वह इस बीच की साल में कितना लंबा चलता है।